सरकारी कंपनी ओएनजीसी के ब्लॉक से गैस निकालने में दोषी पाए जाने के बाद केंद्र सरकार द्वारा रिलायंस इंडस्ट्रीज और इसकी साझेदार-ब्रिटिश पेट्रोलियम व नीको रिसोर्सेज पर लगभग 1.6 अरब डॉलर का जुर्माना लगाने के केन्द्र सरकार के फैसले को रिलायंस इंडस्ट्रीज ने गलत ठहराया है. कंपनी ने कहा है कि वह इसे कानूनी चुनौती देगी.

रिलायंस इंडस्ट्रीज की तरफ से यहां जारी एक बयान में बताया गया है कि केजी -डीडब्ल्यूएन- 98- 3 ब्लॉक, जिसे केडी डी6 के नाम से जाना जाता है, की सीमाओं के भीतर काम किया गया है. कंपनी के मुताबिक वहां परिचालन के दौरान सभी लागू नियमों और उत्पादन भागीदारी करार ( पीएससी) के प्रावधानों के तहत काम किया गया है. सरकार की तरफ से जो दावे किये गए हैं, वह पीएससी के प्रमुख तत्वों की गलत व्याख्या पर आधारित है.

उल्लेखनीय है कि पेट्रोलियम मंत्रालय ने आरआईएल को बीते दिन नोटिस जारी किया था. रिलायंस पर आरोप है कि वह केजी बेसिन में ओएनजीसी के ब्लॉक से सात वर्षो तक गैस निकालती रही. आरआईएल और ओएनजीसी के गैस ब्लॉक आसपास ही हैं.

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