लुधियाना के थाना सलेमटाबरी के मोहल्ला नानकनगर के रहने वाले देविंदर कुमार पेशे से फोटोग्राफर थे. उसी इलाके में उन की फोटोग्राफी की दुकान थी. अपनी दुकान पर तो वह फोटोग्राफी करते ही थे, जरूरत पड़ने पर थानों में जा कर पुलिस द्वारा पकड़े गए अभियुक्तों के फोटो खींच कर डोजियर भी बनाते थे. इस के अलावा लोकल समाचारपत्रों के लिए भी वह फोटोग्राफी करते थे.

हर किसी का दुखदर्द सुनने समझने वाले देविंदर कुमार काफी मिलनसार थे. उन के परिवार में पत्नी के अलावा 2 बेटे, 8 साल का चेतन और 5 साल का जतिन था. उन के दोनों बेटे पढ़ने जाते थे. अपने इस छोटे से सुखी परिवार के साथ देविंदर खुद को बड़ा भाग्यशाली समझ रहे थे. पुलिस प्रशासन में उन की काफी पैठ थी, जिस से आम लोग उन की काफी इज्जत करते थे.

देविंदर कुमार की पत्नी का अपना ब्यूटीपार्लर था. उन के बड़े और छोटे भाई भी उसी मोहल्ले में रहते थे. 3 मई, 2017 की शाम 7 बजे के करीब देविंदर घर पहुंचे तो पता चला कि गली में खेलते हुए उन का बड़ा बेटा चेतन अचानक गायब हो गया है. हैरान परेशान देविंदर पत्नी के साथ बेटे की तलाश में निकल पड़े. चेतन का इस तरह गायब होना हैरानी की बात थी. क्योंकि वह कहीं आताजाता नहीं था.

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चेतन सुबह 7 बजे स्कूल जाता था तो दोपहर साढ़े 12 बजे लौटता था. खाना खा कर वह 2 बजे पड़ोस में रहने वाली अपनी ताई के घर चला जाता था. 5 बजे तक उन्हीं के यहां रहता था. इस के बाद थोड़ी देर वह छोटे भाई और गली के लड़कों के साथ गली में खेलता था या साइकिल चलाता था. इस के बाद घर आ जाता था तो घर से बाहर नहीं निकलता था.

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