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स्मार्ट सिटीज को लोन देंगे वर्ल्ड बैंक

स्‍मार्ट सिटीज प्रोजेक्‍ट्स को पूरा करने के लिए शहरों को वर्ल्‍ड बैंक, एशियन डेवलपमेंट बैंक से लोन लेना मिलेगा. इन बैंकों के माध्‍यम से स्‍मार्ट सिटीज को 100 करोड़ रुपए से बड़े प्रोजेक्‍ट्स के लिए ही लोन मिलेगा. केंद्र सरकार ने सभी स्‍मार्ट सिटीज को इस आशय की जानकारी देते हुए कहा है कि वे प्रोजेक्‍ट्स के प्रपोजल्‍स तैयार कर लें.

केंद्र व राज्‍य से मिलेंगे 1000 करोड़ रुपए

स्‍मार्ट सिटी मिशन के तहत केंद्र सरकार द्वारा हर शहर को 500 करोड़ रुपए दिए जाएंगे, जबकि इतना ही पैसा राज्‍य सरकार द्वारा दिया जाएगा. केंद्र ने स्‍पष्‍ट किया है कि यह पैसा प्रोजेक्‍ट कॉस्‍ट का केवल एक पार्ट है, प्रोजेक्‍ट्स को पूरा करने के लिए शहरों को फाइनेंशियल इंस्‍टीट्शंस से डेट फंड या लोन लेना होगा.

दो रूट से मिलेगा लोन

मिनिस्‍ट्री ऑफ अर्बन डेवलपमेंट के मुताबिक वर्ल्‍ड बैंक और एडीबी से लोन लेने के दो रूट हैं. एक, नेशनल फाइनेंसिंग इंस्‍टीट्यूशन (एनएफआई) के माध्‍यम से, जैसे एसबीआई और आईआईएफसीएल. स्‍मार्ट सिटी प्रोजेक्‍ट्स के लिए बनी एसपीवी को एसबीआई या आईआईएफसीएल से अप्रोच करना होगा. ये एनएफआई टैक्‍नो–कॉमर्शियल अप्रेजल के बाद सीधे लोन जारी कर सकते हैं. दूसरा – राज्‍य सरकारों को लोन के लिए गारंटी देनी होगी, जिसके बाद स्‍मार्ट सिटीज को अर्बन डेवलपमेंट मिनिस्‍ट्री के पास प्रपोजल भेजना होगा.

यह बैंक भी देगा लोन

वर्ल्‍ड बैंक और एडीबी के अलावा एशियन इंफ्रास्‍ट्रक्‍चर इंवेस्‍टमेंट बैंक (एआईआईबी) ने भी स्‍मार्ट सिटी प्रोजेक्‍ट्स को लोन ऑफर किया है. एआईआईबी नया डेवलपमेंट बैंक है, जिसकी स्‍थापना हाल ही में हुई है, जो इंफ्रास्‍ट्रक्‍चर प्रोजेक्‍ट्स को लॉन्‍ग टर्म कन्‍सेशनल फाइनेंस उपलब्‍ध कराता है. शहरों को इस बैंक से लोन के लिए राज्‍य सरकारों के माध्‍यम से मिनिस्‍ट्री ऑफ अर्बन डेवलपमेंट के पास अपना लोन प्रपोजल भेजना होगा.

बर्थडे विश को और स्पेशल बनायेगा फेसबुक

फेसबुक लगातार नए फीचर लॉन्च कर रहा है. अब सोशल मीडिया जाएंट ने बर्थडे रीकैप विडियो फीचर लॉन्च किया है. इस विडियो में जन्मदिन के अगले दिन आपकी टाइमलाइन पर पोस्ट हुईं सभी बर्थडे विशेज और तस्वीरों का क्रिएटिव मोंटाज बनाता है. यह विडियो आपकी न्यूजफीड में सबसे ऊपर नजर आता है.

'टेकचर्च' की रिपोर्ट के मुताबिक फेसबुक खुद ही इस विडियो को तैयार करता है और यूजर्स को इसे शेयर करने का ऑप्शन देता है. वे इसे एडिट कर सकते हैं और मैन्युअली यह तय कर सकते हैं कि किस पोस्ट को हाइलाइट करना चाहते हैं.

विडियो एक केक से शुरू होता है और फिर कुछ ट्रांजिशंस के साथ उन विशेज को दिखाता है, जो जन्मदिन पर टाइमलाइन में पर पोस्ट की गई होती हैं. इस फीचर के लिए यूजर की वॉल पर 3 बर्थडे विशेज का होना जरूरी है.

यहां बिकता है 300 रुपए लीटर पेट्रोल

कई दिनों से हो रही लगातार बारिश से त्रिपुरा में जरूरी चीजों की कीमतों में भारी बढ़ोतरी से जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है. पेट्रोल 300 रुपये प्रति लीटर तो डीजल 150 रुपये प्रति लीटर मिल रहा है

बारिश से असम-त्रिपुरा नैशनल हाइवे बाधित हो गया, जिससे कीमतों में बढ़ोतरी हो गई. हाइवे पिछले दो महीनों से क्षतिग्रस्त था और लगातार हो रही बारिश के कारण मरम्मत कार्य आगे नहीं बढ़ पा रहा है. इसके कारण लोगों को इस तरह की समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है. खराब होने वाले सामान से लदे ट्रक रोड पर फंसे हुए हैं.

लगातार बिगड़ते हालात के बाद अगरतला में लोग प्रदर्शन कर रहे हैं. कुछ लोगों ने विरोध में टायर भी जलाए. राज्य में विपक्षी तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) भी विरोध करने वालों के समर्थन में आ गई है. पुलिस ने हालात काबू में करने के लिए 50 गिरफ्तारियां की हैं. कई स्कूलों ने बसों के लिए फ्यूल ना होने के कारण तीन दिन की छुट्टी घोषित कर दी है.

सरकार ने स्थिति से निपटने के लिए फ्यूल के लिए ऑड-ईवन नियम लागू कर दिया है. मंत्री भानू लाल शाह ने कहा कि स्थिति में जल्द ही सुधार होगा. उन्होंने बताया कि 180 पेट्रोल के टैंकर और 15 डीजल के टैंकर ने त्रिपुरा आए हैं. हमने इंडियन ऑइल कॉर्पोरेशन से रोजाना 100 टैंकर भेजने के लिए कहा है.

शाह ने इसके लिए केंद्र की बीजेपी सरकार को दोषी ठहराया. वहीं, बीजेपी ने मुख्यमंत्री माणिक सरकार को स्थिति काबू कर पाने में असफल रहने के लिए इस्तीफा देने के लिए कहा है.

घर में है भूत? अपने फोन से पता करें सच

पैरानॉर्मल सोसायटी के प्रेजिडेंट गैरव तिवारी की पोस्टमार्टम रिपोर्ट में कहा गया है कि उनकी मौत आत्महत्या से हुई है. गौरव सर्टिफाइड पैरानॉर्मल रिसर्चर के साथ-साथ UFO से सर्टिफाइड फील्ड रिसर्चर भी थे. इंडिया में 8 से 10 सर्टिफाइड पैरानॉर्मल सोसायटीज हैं जो घोस्ट हंटिंग का काम करती हैं. हम आपको बता रहे हैं घोस्ट हंटिंग के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले गैजेट्स के बारे में. घोस्ट का पता लगाने के लिए यूज होते हैं ये गैजेट्स…

1. मिस्टर घोस्ट (Mr.Ghost)

Mr. Ghost एक EMF (इलेक्ट्रोमैग्नेटिव फोर्स) डिटेक्टर है. इसे स्मार्टफोन के हेडफोन जैक से कनेक्ट घर में पैरानॉर्मल एक्टिविटी का पता लगाया जा सकता है. दरअसल, ये एक डिवाइस है जो ऐप की मदद से रेडिएशन मापता है.

कैसे करता है काम-

इसे यूज करने के लिए iTunes से MrGhost नाम का ऐप डाउनलोड करना पड़ता है. EMF डिटेक्टर को फोन से कनेक्ट करके उस सामान या दिशा में प्वॉइंट करना होता है जहां से अनवॉन्टेड एक्टिविटी होने की शंका हो. ऐप की मदद से ये डिवाइस उस जगह से आ रही रेडिएशन बता देगा. ये आईफोन के साथ कम्पैटिबल है.

2. डिजिटल रिकॉर्डर

डिजिटल रिकॉर्डर को EVP भी कहा जाता है. पैरानॉर्मल इन्वेस्टिगेटर इसे ऐसी जगहों पर रहस्यमयी आवाजें सुनने के लिए इस्तेमाल करते हैं. कई इन्वेस्टिगेटर्स का मानना है कि इस डिजिटल रिकॉर्डर की आवाज से आत्माओं को फॉलो किया जा सकता है.

3. घोस्ट बॉक्स

घोस्ट बॉक्स या फ्रैंक बॉक्स एक तरह का पोर्टेबल रेडियो है, जिसमें mm और fm बैंड भी कनेक्ट होता है. माना जाता है कि कई रहस्यमयी ताकतें ऑडियो संकेतों की मदद से अपना मैसेज देती हैं. इस डिवाइस को डिजिटल रिकॉर्डर की तरह यूज किया जा सकता है.

4. EMF मीटर

ये डिवाइस इलेक्ट्रोमैग्नेटिक फिल्ड और आत्माओं की एक्टिविटी को ट्रेस करती है. पैरानॉर्मल इन्वेस्टिगेटर्स का कहना है कि परालौकिक शक्तियों में मैग्नेटिक फिल्ड को बदलने की ताकत होती है और मैग्नेटिक फिल्ड के बदलते ही ये EMF मीटर इसे ट्रैक कर लेता है. पैरानॉर्मल इन्वेस्टिगेटर्स के बीच ये डिवाइस काफी फेमस है.

5. मोशन डिटेक्टर

नॉर्मल आंखों से न दिखाई देने वाली आकृतियों को देखने के लिए कुछ घोस्ट हंटर्स मोशन डिटेक्टर या मोशन सेंसर का इस्तेमाल करते हैं. ऐसा मानना है कि इस डिवाइस से ऐसी शक्तियों का आसानी से पता चल जाता है. मोशन सेंसर्स बहुत सेंसिटिव मूवमेंट्स को भी आसानी से ट्रैक कर लेते हैं.

6. लेजर ग्रिड

ये एक अलग तरह का लेजर है. आस-पास आत्मा या शक्ति होने पर लेजर बीम जलने लगती है. इसे सबसे ज्यादा इस्तेमाल किया जाता है. इसके साथ ही कैमरा और कैम रिकॉर्डर भी लगाया जाता है. मार्केट में कई अलग-अलग फीचर्स वाले लेजर ग्रिड अवेलेबल हैं.

रियो ओलंपिक: रूस की भारोत्तोलन टीम पर बैन

रूसी भारोत्तोलन टीम को डोपिंग के आरोपों की वजह से रियो ओलंपिक में भाग लेने से रोक दिया गया है. अंतरराष्ट्रीय भारोत्तोलन महासंघ ने कहा कि व‌र्ल्ड एंटी डोपिंग एजेंसी (वाडा) के लिए तैयार की गई मैकलारेन की इसी महीने पेश रिपोर्ट में कुछ रूसी भारोत्तोलकों के नाम थे.

महासंघ ने कहा कि रूसी खिलाड़ियों की वजह से पहले भी अंतरराष्ट्रीय मंचों पर इस खेल की प्रतिष्ठा धूमिल हुई है. अत: इस खेल को बचाने के लिए पूरी रूसी टीम को ओलंपिक खेलों में भाग लेने से रोक दिया गया है.

वाडा की रिपोर्ट में रूस में सरकार समर्थित डोपिंग सिस्टम का जिक्र किया गया था. जिसमें रूस के खेल मंत्रालय समेत तीस से ज्यादा खेलों में डोपिंग का जाल फैला होने के प्रमाण दिए गए थे.

वेटलिफ्टर संघ का कहना है कि वर्ल्ड एंटी डोपिंग एजेंसी की जांच में रूस के 10 खिलाड़ियों के नाम पॉजेटिव आए हैं, जिसके चलने ओलंपिक में जाने पर पाबंदी लगाई गई है.

17 में से 16 पहलवानों को हरी झंडी

रूस के 17 में से 16 पहलवानों को युनाइटेड व‌र्ल्ड रेसलिंग (यूडब्ल्यूडब्ल्यू) ने रियो ओलंपिक में खेलने की मंजूरी दे दी है. फ्रीस्टाइल पहलवान विक्टर लेबेदेव को एक दशक पहले डोप टेस्ट में नाकाम रहने कारण बाद हरी झंडी नहीं मिल सकी है.

यूडब्ल्यूडब्ल्यू ने एक बयान में कहा, 'रियो ओलंपिक के लिए क्वालीफाई करने वाले सभी रूसी पहलवानों का टेस्ट मास्को से बाहर वाडा की मान्यता प्राप्त लैब में हुआ था. मैकलारेन रिपोर्ट में किसी पहलवान का नाम नहीं है. अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति (आइओसी) के नियमों के तहत विक्टर लेबेदेव को मंजूरी नहीं मिली, जो 2006 में जूनियर विश्व चैंपियनशिप में डोप टेस्ट में नाकाम रहे थे.'

ओलंपिक मशाल की सुरक्षा की समीक्षा

प्रदर्शनकारियों के ओलंपिक मशाल समारोह में बाधा और उसे जलने से रोकने के बाद रियो के शीर्ष अधिकारियों ने उसकी सुरक्षा की समीक्षा की. रियो के राज्य सुरक्षा सचिव जोस मरिआनो बेल्ट्रेम ने कहा कि मशाल ले जाने के दौरान पुलिस व्यवस्था में सुधार लाए जाने की जरूरत है.

आंग्रा डॉस रीस इलाके में हिंसक झड़पों से अंतिम दौर में चल रही ओलंपिक की तैयारियों को झटका लगा है. ओलंपिक शुरू होने से पहले मशाल को ब्राजील के तीन सौ से ज्यादा शहरों से होकर ले जाया जाएगा. आयोजकों के लिए चिंता का सबब रियो मेट्रो के कर्मचारियों की धमकी भी है. एक दिन पहले उन्होंने बढ़ा हुआ वेतन न दिए जाने पर हड़ताल पर जाने की चेतावनी दी है.

खेल गांव में तोड़फोड़ का अंदेशा

आयोजकों का कहना है कि ओलंपिक खेल गांव में गैस लीक होने, शौचालयों के बंद होने और इलेक्ट्रिक फॉल्ट होने के पीछे असंतुष्ट कर्मचारियों का हाथ हो सकता है. रियो के प्रवक्ता मारियो अंड्राडा ने कहा, 'हमें लग रहा है कि इसके पीछे अलग-अलग वजह हो सकती हैं, लेकिन तोड़फोड़ के बारे में हमारे पास कहने के लिए पर्याप्त तथ्य नहीं हैं.'

उन्होंने कहा कि गड़बडि़यों के पीछे सबसे बड़ी वजह सांगठनिक समस्याएं हैं. 18000 एथलीटों और स्टॉफ के लिए 31 इमारतें तैयार करवाई जा रही हैं. कुल 3600 कमरों में से चार सौ में कुछ कमियां रह गई हैं.

ये है इस लड़की के जिस्म की कीमत, देखें हैरान कर देने वाला वीडियो

वर्जिनिटी लूज करने की कीमत का अंदाजा क्या लगा सकते हैं आप, चंद पैसे? जब एक वर्जिन लड़का पहुंचा एक प्रॉस्टिट्यूट के पास तो उस लड़की ने जो कीमत मांगी, जान कर हैरान रह जायेंगे आप.

उस बंद कमरे में जो हुआ आप उसकी कल्पना भी नहीं कर सकते.

देखें ये विडियो:

http://www.sarita.in/web-exclusive/a-prostitute-and-a-virgin-boy

ढिशुम: नई बोतल में पुरानी शराब

फिल्म ढिशुम देखते हुए दिमाग में एक सवाल उठा कि फिल्म निर्देशक रोहित धवन ने यह फिल्म दर्शकों के लिए बनायी है या सरकार के साथ पीआर बढ़ाने के लिए. फिल्म में पुलिस अफसर जुनैद अंसारी का किरदार निभा रहे अभिनेता वरूण धवन का संवाद है, ‘कमाता हूं दिरहम में, लेकिन खर्चता हूं रुपए में. खाता हूं इनकी, लेकिन सुनता हूं सिर्फ मोदी जी की.’

तो वहीं फिल्म में भारतीय विदेश मंत्री का किरदार निभा रही अभिनेत्री को पूरी तरह से विदेश मंत्री सुषमा स्वराज का ही गेटअप दिया गया है. उनकी चाल-ढाल की भी नकल करने का प्रयास किया गया है. पर फिल्मकार ने फिल्म के शुरू होते ही कहा है कि उनकी तरफ से ऐसा कोई जानबूझकर प्रयास नहीं किया गया. मगर फिल्म खत्म होने पर भी हमारे दिमाग में उठे सवाल का जवाब नहीं मिला. मगर फिल्म में ऐसा कुछ भी नहीं है जिसकी वजह से दर्शक को अपनी गाढ़ी कमाई इस फिल्म को देखने के लिए खर्च करने को कहा जा सके.

फिल्म की कहानी भारतीय क्रिकेटर विराज शर्मा के अपहरण से शुरू होती है. विराज का अपहरण एक बुकी वागा यानी कि अक्षय खन्ना ने किया है. उसे चार सौ करेाड़ का नुकसान हो चुका है. वह चाहता है कि विराज ऐसा खेले जिससे फाइनल मैच में भारत से पाकिस्तान जीत जाए. पर विराज तैयार नहीं होता. उधर भारतीय विेदेश मंत्री विराज की तलाश के लिए जांबाज अफसर कबीर यानी जॉन अब्राहम को भेजती है. मिडल इस्ट में एक नया पुलिस अफसर जुनैद अंसारी यानी वरूण धवन मिलकर विराज की तलाश शुरू करते हैं. इनकी मदद के लिए एक चोर इशिका यानी जैकलीन फर्नाडिस भी आ जाती है. फिर कई घटनाक्रम घटित होते हैं. भारत सरकार बुकी वागा के बैंक खाते में पांच सौ करोड़ भी जमा कर देती है. पर बुकी चाहता है कि विराज शर्मा मारा जाए. लेकिन जुनैद अंसारी और कबीर विराज को क्रिकेट के मैदान में पहुंचाने के साथ ही बुकी वागा को भी गिरफ्तार कर लेते हैं.

भारतीय फिल्म में गाना जरुर होना चाहिए. इसलिए फिल्म की शुरूआत और अंत में एक एक गाना यूं ही रख दिया गया है. जिनकी जरुरत नजर नहीं आती. फिल्म में इंटरवल के बाद भी एक गाना है. पर दर्शक को कुछ नहीं मिलता. फिल्म के कैमरामैन बधाई के पात्र हैं. लोकेशन अच्छे चुने गए हैं. उड़ते हवाई जहाज से लटकने का दृश्य भले ही रोमांचित करे पर एक्शन दृश्यों में दम नहीं है.

जहां तक कहानी का सवाल है तो वही घिसी पिटी कहानी है. क्रिकेट और बुकी को लेकर ‘जन्नत’ जैसी कई फिल्में बन चुकी हैं. जॉन अब्राहम इस तरह का एक्शन कई फिल्मों में कर चुके हैं. वरुण धवन के अभिनय में भी कुछ नयापन नही है. कई दृश्य तो वरूण धवन की पुरानी ईमेज को भुनाने के लिए ही रखे गए हैं. रोहित धवन निर्देशक के तौर पर कुछ खास नहीं कर पाए.

चप्पल

‘‘अरे, उस पागल को पकड़ो… भागने न पाए,’’ एक सिक्योरिटी गार्ड दौड़ते हुए बोला. तब तक चारों ओर से सभी उसे दौड़ कर पकड़ चुके थे.

‘‘उसे छोड़ दो और मेरे पास लाओ,’’ मुख्यमंत्री का आदेश सुन कर सभी उसे उन के पास ले आए.

‘‘आओ, यहां आ कर बैठो,’’ मुख्यमंत्री ने थोड़ा गंभीर आवाज में कहा.

वह सिक्योरिटी गार्डों के घेरे में आ कर बैठ गया.

‘‘बताओ, तुम ने मुझे क्यों मारा? मैं ने तुम्हारा क्या बिगाड़ा था?’’ मुख्यमंत्री ने सीधे सवाल पूछा.

‘‘आप ने शराबबंदी क्यों लागू की?’’ यह उस का पहला सवाल था, जो सवाल के जवाब में पूछा गया.

‘‘शराबबंदी लागू करने की वजह से मुझे क्यों मारा?’’ मुख्यमंत्री ने फिर सवाल किया.

‘‘इसलिए कि लाखों लोगों की रोजीरोटी इसी शराब से चलती थी. इसलिए कि बिना पहले कोई सूचना दिए शराबबंदी लागू कर देने से लाखों रुपए का घाटा हो गया,’’ उस ने जवाब दिया.

‘‘देखो भाई, शराब पीने से हजारों लोग मरते थे. अनेकों घर उजड़ जाते थे,’’ मुख्यमंत्री ने सरल भाव से उसे समझाया.

‘‘मगर, कितने लोगों की रोजीरोटी इस से चलती थी… कितने लोग इस के कारोबार से पलते थे… रही बात शराबबंदी की, तो शराब आज भी धड़ल्ले से बिक रही है. बस, पड़ोसी राज्य कमा रहे हैं,’’ उस ने मुख्यमंत्री को आईना दिखा दिया.

‘‘मगर मुझे मारने से तुम्हें क्या मिला?’’ मुख्यमंत्री का सवाल था.

‘‘दिल को सुकून. मैं आप को थप्पड़ नहीं मार सकता. आप अच्छे आदमी हैं, इसलिए जान से नहीं मारना चाहता था. बस, सबक सिखाने के लिए मैं ने अपना हाथ चला दिया.’’

इस जवाब ने मुख्यमंत्री को चौंका दिया. वे बोले, ‘‘देखो, तुम बहुत गरीब हो. इस तरह की हरकत से तुम अपना नुकसान कर रहे हो.’’

मुख्यमंत्री ने उस से इतना कह कर सिक्योरिटी गार्ड से उसे ले जाने को कहा. बाद में एसपी को बुला कर सच्ची बात उगलवाने की सलाह दी.

‘‘यह झूठ बोल रहा है. चप्पल मार कर यह मुझे मानसिक आघात पहुंचाना चाहता था, इसलिए पता करो कि सच क्या है?’’

मुख्यमंत्री की इस बात को सुनते ही एसपी झट से बोल उठा, ‘‘आप चिंता न करें सर. इस से सच उगलवा कर रहेंगे.’’

उसे सचिवालय थाने में लाया गया.

‘‘देख बे, हम सब आराम से पूछ रहे हैं. सच बता दे, वरना हमें दूसरा रास्ता भी अपनाना आता है,’’ एसपी उस के पास जा कर बोला.

‘‘क्या कर लेगा? हाईप्रोफाइल केस है. हाथ लगा कर तो दिखा, वरदी न उतरवा दूं, तो कहना,’’ वह अकड़ कर बोला.

अब तो एसपी का पारा सातवें आसमान पर चढ़ गया. वह 8-10 बेंत जमा कर बोला, ‘‘वरदी उतरवाएगा… चल उतरवा… तेरा एनकाउंटर यहीं कर देते हैं.’’

डंडे की चोट अच्छेअच्छों को ठीक कर देती है. वह चिल्लाया, ‘‘मत मारो, मैं बताता हूं.’’

एसपी रुकते हुए बोला, ‘‘सच बता दे, वरना तेरा यहीं काम तमाम कर देंगे.’’

‘‘बिलकुल सच बोलूंगा. मेरी मां बहुत बीमार हैं. उन के इलाज पर काफी पैसा खर्च होना है. मुझे इस काम के लिए 50 हजार रुपए मिले थे. मनोहर लाल ने मुझे पैसा दिया, तो मैं ने अपना काम कर दिया,’’ उस ने कहा.

‘‘तेरी बात गलत निकली, तो काट कर रख देंगे,’’ एसपी इतना कहता हुआ वहां से चला गया. मुख्यमंत्री को जैसे ही पता चला, तो वे झट से मीडिया को बुला कर मुखातिब होते हुए बोले, ‘‘मेरे ऊपर चप्पल फेंकने वाला राजनीति से प्रेरित था. उसे ऐसा करने के लिए लोगों ने खासकर एक नेता ने मजबूर किया था.’’

‘‘आप को इन बातों का पता कैसे चला?’’ एक पत्रकार के सवाल पर उन्होंने एसपी को आगे कर दिया, जिस ने सभी को उचित जवाब दिया.

‘‘अब आप क्या करेंगे?’’ एक पत्रकार के इस सवाल पर मुख्यमंत्री झट से बोल उठे, ‘‘मैं उस की मां का इलाज कराऊंगा, क्योंकि जनता की देखरेख करना मेरा फर्ज है.’’

मुख्यमंत्री के इस बयान की सब ने तारीफ की. इधर मनोहर लाल नफरत की आग में जलने लगा था, ‘‘उस ने पैसा ले कर गद्दारी की है. मैं उसे कभी माफ नहीं करूंगा. मैं उस की मां को अस्पताल में ही मरवा दूंगा,’’ वह बड़बड़ाता हुआ बाहर आया, मगर बाहर खड़ी पत्रकारों की टीम ने उस के होश उड़ा दिए.

‘‘मनोहर लाल साहब, आप ने मुख्यमंत्री को चप्पल क्यों मरवाई?’’ एक पत्रकार का सीधा सवाल था.

‘‘मैं ऐसा क्यों करने लगा? जनता जनार्दन ही बुरे कामों के चलते चप्पल मारती है,’’ उस ने जवाब दिया.

‘‘आप गलत बोल रहे हैं. मुख्यमंत्री को चप्पल मारने वाला इस बात को कबूल कर चुका है कि आप ने चप्पल मारने के लिए उसे 50 हजार रुपए दिए थे,’’ यह दूसरे पत्रकार का कहना था.

‘‘पुलिसिया डंडे से तो आप भी उन का मनचाहा बयान दे देंगे. सच तो यह है कि मैं ने इस काम के लिए किसी को कोई पैसा नहीं दिया,’’ मनोहर लाल लीपापोती में लगा था.

‘‘आप का पैसा पकड़ा जा चुका है. वह आदमी न सिर्फ कबूल कर चुका है, बल्कि अस्पताल में फीस के 50 हजार रुपए आप का आदमी दीनदयाल जमा करा चुका है,’’ यह तीसरे पत्रकार की आवाज थी.

‘‘दीनदयाल ने किसी की मदद की तो यह अच्छी बात है, मगर चप्पल मारने का सौदा मैं ने किसी के साथ नहीं किया,’’ मनोहर लाल ने बात को संभालने की कोशिश की. इधर मुख्यमंत्री खुद अस्पताल जा कर उस की मां के इलाज का पूरा पैसा जमा करा चुके थे. मनोहर लाल वाली बात वह अपराधी भी कबूल चुका था. वह पास आते ही उन के पैरों पर गिर कर बोला, ‘‘हुजूर, मुझ से गुनाह हो गया. आप मुझे चाहे फांसी पर लटकवा दें, मगर मेरी मां को…’’

‘‘कुछ नहीं होगा तुम्हारी मां को. वह पूरी तरह ठीक है. रही बात तुम्हारी, तो तुम ने सच कबूला है, इसलिए तुम्हारा बाल भी बांका नहीं होगा,’’ मुख्यमंत्री के इस बयान से वह रोने लगा.

‘‘अच्छा जाओ,’’ कह कर मुख्यमंत्री ने उसे विदा किया, तो वह बाहर आ गया. मनोहर लाल का बयान बेतुका हो गया. जब पुलिस के डंडे दीनदयाल पर बजे, तो उस ने भी इस सच को कबूला कि उसे मनोहर लाल ने 50 हजार रुपए अस्पताल में जमा कराने के लिए भेजा था. साथ ही, चप्पल मारने का ठेका भी दिया था. अब तो आलाकमान ने मनोहर लाल को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा दिया. जेल की हवा खानी पड़ी, सो अलग. मुख्यमंत्री मनोहर लाल से जेल में मिलने गए और मिलने के बाद पत्रकारों से मुखातिब होते हुए बोले, ‘‘मेरा मनोहर लाल से कोई वैर नहीं है. उस ने मुझे नीचा दिखाने के लिए ऐसी ओछी हरकत की. जो आदमी 50 हजार रुपए दे कर मुझ पर चप्पल फिंकवा सकता है, वह लाख 2 लाख रुपए दे कर मुझे मरवा भी सकता है.’’

‘‘मगर सर, क्या आप इस घटना से दुखी नहीं हैं,’’ एक पत्रकार के इस सवाल के जवाब में वे बोले, ‘‘जनता की सेवा करना, गलत काम को रोकना मेरा फर्ज है. सुशासन देने के लिए जनता ने मुझे मुख्यमंत्री बनाया है. मैं ने शराबबंदी की, तो शराबियों की दुकानें बंद हो गईं. मनोहर लाल भी इन्हीं में से एक है. वह मौत का सौदागर है.’’ अब तो मुख्यमंत्री की जयजयकार होने लगी, वहीं मनोहर लाल कोर्टकचहरी में उलझता चला गया. उस के घर से एक पेटी शराब पकड़ी गई और सरकार ने उस का घर सील कर दिया. इस से मनोहर लाल टूट गया और झट से पैतरा बदलते हुए बोला, ‘‘मुख्यमंत्री मेरे दोस्त हैं. मुझे उन से कोई वैर नहीं है और न ही मैं ने ऐसा कराया है. चप्पल मारने वाले उस आदमी और दीनदयाल को सद्बुद्धि मिले. मैं ने उन दोनों को माफ कर दिया है.

ऐसे घर में बनाएं इलेक्ट्रिक शॉक स्पाई पेन

आप भी शॉक लगने वाले पेन से खूब खेले होंगे या आपने दोस्तों के साथ प्रैंक किया होगा. अब ये पेन मार्केट में आसानी से नहीं मिलते.

ऐसे में अगर एक बार फिर इससे अपने फ्रेंड्स को डराना चहते हैं तो हम आपको बता रहे हैं घर पर स्पाई पेन बनाने की ट्रिक. घर बैठे ऐसे बनाएं इलेक्ट्रिक शॉक स्पाई पेन…

इलेक्ट्रिक शॉक स्पाई पेन बनाने के लिए जरूरी सामान-

1 छोटी कील

1 लाइटर

एक मोटा पेन (ताकि इसमें आसानी से इलेक्ट्रिक एलिमेंट फिल हो सके. इसके अलावा इसमें एक मेटल क्लिप भी होना चाहिए.)

कटर

ग्लू

इलेक्ट्रिक शॉक स्पाई पेन बनाने के लिए ये प्रोसेस फॉलो करें

स्टेप नंबर 1

सबसे पहले हमें एक लाइटर से PS इलेक्ट्रिक एलिमेंट निकाल लेना है. इसे खोल कर इलेक्ट्रिक एलिमेंट बाहर निकाल लें.

स्टेप नंबर 2

अब पेन को खोल कर इसके सभी पार्ट्स अलग कर लें. पेन के अंदर दो प्लास्टिक पार्ट (टॉप और बॉटम), एक इंक रिफिल और एक टॉप. इन सभी को खोल कर अलग कर लें.

स्टेप नंबर 3

अब कटर से मार्क किए हुए पार्ट को काट दें. हम इस कटे हुए मिडल पार्ट का यूज नहीं करेंगे. इसे अलग कर दें.

स्टेप नंबर 4

अब पेन से मेटल क्लिप को अलग करें. कील को लाइटर से गर्म करें और मेटल क्लिप के नीचे की प्लास्टिक के ठीक नीचे एक होल बनाएं. इसके बाद होल के ऊपर प्लास्टिक के पार्ट (मेटल क्लिप निकालने के बाद प्लास्टिक एक छोटा हिस्सा दिखाई देता है) को काटना है ताकि इसमें इलेक्ट्रिक वायर को एडजस्ट किया जा सके.

स्टेप नंबर 5

अब हमें पेन को फिर से असेम्बल करना है. पहले हम पेन का टॉप असेम्बल करेंगे.  सबसे पहले बॉटम इंसर्ट करें. इसके बाद Ps इलेक्ट्रिक एलिमेंट के वायर में ग्लू लगाकर पेन की बॉडी (ऊपरी हिस्से) में इंसर्ट करें. वायर को होल से बाहर निकालें. इस वायर को प्लास्टिक के उस छोटे से पार्ट में अच्छे से इंसर्ट कर दें जिसे स्टेप 5 में बनाया था.

स्टेप नंबर 6

अब मेटल क्लिप लगा दें. इसके बाद पेन के सभी पार्ट्स को पहले जैसा फिट कर दें. आपका इलेक्ट्रिक शॉक स्पाई पेन रेडी है.

कैसे करता है काम?

जब आप पेन की बटन प्रेस करेंगे तो PS इलेक्ट्रिक एलिमेंट प्रेस होगा. इस प्रोसेस में स्पार्क प्रोड्यूस होता है. ये वायर से पास होते हुए मेटल क्लिप तक पहुंचता है और पेन पकड़े हुए व्यक्ति को एक शॉक लगता है. पेन में इंक भी लगाएं ताकि ये फेक पेन न लगे. इस पेन से आप अपने दोस्तों के साथ प्रैंक कर सकते हैं.

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