लेखक- रोहित और शाहनवाज 

सुबह के 10 बजे तकरीबन हम जालंधर से बस पकड़ कर फाइनली पंजाब के मोगा मुनिसिपल कारपोरेशन निकले. जालंधर से मोगा तक की दूरी करीब 80 किलोमीटर है जिसे बस से पार करने के लिए लगभग 2 घंटे का समय लगता है. हां, बीच में पड़ने वाली रोड़ों पर उबड़खाबड़ कम हों तो इसे डेढ़ घंटे में पूरा किया जा सकता है. लेकिन एक बात अच्छी यह कि रास्तों के दोनों तरफ बड़े बड़े लहलहाते खेत देखे जा सकते हैं. अब जाहिर है जिन कृषि कानूनों पर जिस का असर पड़ने जा रहा है वह इन्ही खेतों पर पड़ेगा. इस समय खेतों में उगाई सरसों की पीली चमक दूरदूर तक देखने को मिल जाएगी.

इस बीच रास्तों में छोटे मोटे टाउन पड़ते रहे जहां बस रुका करती. जिन में मुख्य खुरला किंगर, गोहिर, मलासैन, शाहकोट व धर्मकोट इत्यादि हैं. लेकिन अधिकतर जगह बस लम्बेलम्बे खेत और गांव से हो कर गुजरती. यह सफर काटने के बाद हम मोगा डिस्ट्रिक्ट पहुंचे. मोगा 1995 से पहले फरीदकोट जिले का एक हिस्सा था, लेकिन बाद में यह जिला बना दिया गया. वैसे तो मोगा एक अलग जिला के तौर पर है लेकिन इस की संसदीय क्षेत्र फरीदकोट में ही आता है, जहां से इस समय कांग्रेस से मोहम्मद सादिक ने जीत हांसिल की. वहीँ मोगा के वर्तमान विधायक कांग्रेस के हरजोत सिंह कमल हैं. मोगा शहर महानगर में आता है तो यहां शहरी हलचल देखने को काफी मिल जाएगी. होशियारपुर के मुकाबले यह काफी डेंस इलाका सा महसूस हुआ. होशियारपुर के मुकाबले गाड़ियों की अधिक चिलपौं देखने को मिल सकती है. बड़ेबड़े ब्रांड की शौप बाजारों में अधिक दिख जाएंगी.

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