जेएनयू विश्वविद्यालय का जिक्र हमेशा उस वक्त होता था, जब वहां से निकला कोई छात्र या छात्रा दुनिया में हिंदुस्तान का परचम लहराता था. लेकिन अब इस विश्वविद्यालय की आत्मा को बार-बार झकझोरने की कोशिशें हो रही हैं. इस विश्वविद्यालय की रूह को जख्मी करने के लिए कभी पुलिस तो कभी विपरीत विचारधारा वाले लोग आगे रहते हैं. रविवार को शाम भी कुछ ऐसा ही हुआ.

जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) परिसर में रविवार शाम अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) के छात्र नेताओं और वामपंथी छात्रों के बीच हुई हिंसक झड़प में जेएनयूएसयू की अध्यक्ष आइशी घोष सहित कई अन्य विद्यार्थी बुरी तरह से घायल हो गए. वीडियो में घोष के शरीर से खून निकलता देखा जा सकता है. जानकारी के मुताबिक लोहे की रोड से उसकी आंख पर हमला किया गया. प्राथमिक उपचार के लिए उसे पास के अस्पताल ले जाया गया है.

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लाठियों-डंडों के साथ कैंपस में दाखिल हुए थी भीड़...

महासचिव सतीश चंद्र भी इस दौरान घायल हो गए और कथित तौर पर कुछ शिक्षकों पर भी हमला किया गया. घटनास्थल से मिली खबरों के अनुसार, मुनिरका इलाके से कुछ बाहरी लोग लाठियों-डंडों के साथ कैंपस में दाखिल हुई थी. घटना के बाद बदमाश कथित तौर पर फरार हो गए.

एबीवीपी के छात्र नेताओं ने लगाया था ये आरोप 

इससे पहले एबीवीपी के छात्र नेताओं ने कथित तौर पर आरोप लगाया कि जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) के पेरियार छात्रावास के छात्रों के साथ वामपंथी छात्रों ने मारपीट कर उन्हें गंभीर रूप से घायल कर दिया.

एबीवीपी की जेएनयू यूनिट के अध्यक्ष दुर्गेश ने कहा, "करीब चार से पांच सौ वाम सदस्य पेरियार छात्रावास में इकट्ठा हुए, यहां तोड़फोड़ कर जबरन घुसपैठ की और अंदर बैठे एबीवीपी के कार्यकर्ताओं को पीटा." एबीवीपी ने दावा किया कि उसके अध्यक्ष पद के उम्मीदवार मनीष जांगिड़ को बुरी तरह से घायल किया गया है और शायद मारपीट के बाद उसका हाथ टूट गया है.

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