Health Update : व्रत रहने वाले लोग सेंधा नमक का बहुत प्रयोग करते है. कम लोगों को पता है कि सेंधा नमक में आयोडीन नहीं होता है. जो लोग सेंधा नमक का प्रयोग ज्यादा करते है उन में आयोडीन की कमी हो सकती है. जिस सेंधा नमक को सही माना जाता है वह सेहत के लिए उतना उपयोगी नहीं होता. आयोडीन की कमी बहुत पहले से चल रही है. इस के कारण ही देश में खुले नमक की बिक्री पर रोक लगा दी गई थी.
आज कई तरह के पैकेट वाले नमक बाजार में बिक रहे हैं. जो कीमत में सौ रुपए तक हैं. ये सभी शरीर में आयोडीन की मात्रा को पूरा करने का दावा करते हैं. नमक का बड़ा बाजार बन गया है. पैकेटबंद नमक के बाद भी लोगों को आयोडीन की कमी होने लगी है. भारत के सौल्ट कमिश्नर औफिस के अनुसार, देश के लगभग 20 करोड़ से ज्यादा लोगों को आयोडीन डैफिशिएंसी डिसऔर्डर का खतरा है.
7 करोड़ से ज्यादा लोग घेंघा से और आयोडीन की कमी से होने वाले अन्य डिसऔर्डर से जूझ रहे हैं. आयोडीन एक ऐसा मिनरल जो शरीर को बहुत कम मात्रा में चाहिए. इस के बावजूद, यह शरीर को स्वस्थ रखने में अहम भूमिका निभाता है. आयोडीन की कमी होने पर घेंघा रोग के पनपने का जोखिम बढ़ सकता है. ऐसा होने पर शरीर मूड स्विंग्स और चिड़चिड़ाहट जैसे इशारे करता है.
जानकार लोग 5 ग्राम नमक ही खाने की सलाह देते हैं. विश्व स्तर पर सब से अधिक 17 ग्राम नमक चीन के लोग खाते हैं. भारत के लोग 15 ग्राम, दक्षिण कोरिया के लोग 12 ग्राम, सिंगापुर 11 ग्राम, श्रीलंका, मलेशिया और जापान के लोग 10 ग्राम नमक का ही प्रयोग करते हैं. ज्यादा नमक का सेवन ब्लडप्रैशर को भी बढाता है. नमक शरीर के लिए जरूरी है पर इस की मात्रा का खयाल रखना चाहिए.
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