आजकल जंगली जानवरों से फसलों की सुरक्षा करना किसानों के लिए बहुत कठिन होता जा रहा है. जंगली जानवरों की रोकथाम के लिए कई साधन इस्तेमाल किए जाते हैं, जिन में सोलर फैंसिंग बाड़, फसल रक्षक मशीन, मेहंदी बाड़ वगैरह खास हैं. इसी दिशा में ओमसाईं एग्रीबायोटेक प्रा. लि. ने ऐसे अर्क तैयार किए?हैं, जिन के फसल में किनारों पर छिड़काव करने से जंगली जानवरों की रोकथाम हो जाती है और वे फसलों को नुकसान नहीं पहुंचा पाते.

सांई नील रतन : जंगली जानवरों से फसल सुरक्षा के लिए यह पूरी तरह से हर्बल व विष रहित दवा है. यह कुदरती पौधों के द्वारा बनाया जाता है, इस की महक से ही जंगली जानवर दूर चले जाते हैं. इस नील रतन को 1 बार इस्तेमाल करने से 15-20 दिनों तक नीलगाय से फसल पूरी तरह सुरक्षित रहती है. पालतू पशुओं पर इस घोल का कोई खराब असर नहीं होता.

प्रयोग विधि : 100 मिलीलीटर नील रतन को 30 लीटर पानी में मिला कर फसल के ऊपरी हिस्से पर छिड़काव करें. घोल बनाने से पहले बोतल को अच्छी तरह हिला लें.

साईं सू रक्षक : चूहे, बंदर, जंगली सूअर जैसे जंगली जानवरों से फसल की सुरक्षा के लिए सू रक्षक देशी वनस्पतियों से तैयार किया गया है. जिन इलाकों में इन जीवजंतुओं से फसल को खतरा रहता?है, वहां यह सू रक्षक इस्तेमाल करना चाहिए.

प्रयोग विधि : 100 मिलीलीटर सू रक्षक को 30 लीटर पानी में मिला कर खेत की मेड़ से 5 फुट अंदर तक मिट्टी पर छिड़काव करें. इस्तेमाल करने से पहले बोतल को अच्छी तरह हिला लें.

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