जल्द ही ऐसा दिन आएगा जब आपके दिल की धड़कन ही आपके ATM का पासवर्ड बन जाएगी. इतना ही नहीं आप दिल की धड़कन की मदद से पैसा निकाल और ट्रांसफर कर सकेंगे.

फिलहाल तो यह बात आपको जरूर मजाक लग रही होगी, लेकिन यह बिल्कुल सच है. आप सोच रहे होंगे की प्रत्येक व्यक्ति की दिल की धड़कन अलग होती है तो यह कैसे संभव हो सकता है.

दिल की धड़कन को एटीम का पिन बनाने का काम जल्द ही होने वाला है. भारत में अभी इस नई और खास प्रकार की तकनीक को आने में थोड़ा समय लगेगा. लेकिन साइबर जगत की सुरक्षा को देखते हुए भारतीय बैंक इसे जल्द से जल्द लाने की तैयारियां कर रहे हैं.

आपको बता दें कि टोरंटो की बायोमैट्रिक और ऑथेंटिकेशन कंपनी इस तकनीक पर रिसर्च कर रही है. इसके लिए हाथ में एक रिस्टबैंड बंधा होगा जो आपके एटीम के लिए एक ट्रांसमिशन सिग्नल का काम करेगा, जो आपके दिल की धड़कन को पहचान लेगा. इस तकनीक को लाने में प्राइवेट बैंक भी आगे बढ़ रहे हैं. प्राइवेट बैंक जैसे HDFC और ICICI बैंक भी इस नई तकनीक को लाने का विचार कर रहे हैं.

इस तकनीक के बारे  में पूछे जाने पर बैंकों का कहना है कि इस तकनीक के आने से ग्राहकों के बैंक खाते और भी सुरक्षित हो जाएंगे. जिससे अकाउंट हैक होने, और धोखाधड़ी का कोई खतरा नहीं होगा. DCB बैंक ने अपने ग्राहकों के लिए एटीम में फिंगरप्रिंट स्कैनर की शुरूआत की है. इसी प्रकार ऐसे बहुत से बैंक हैं जिन्होंने पिन नंबर के स्थान पर नई तकनीक का इस्तेमाल किया है.

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