सवाल
मैं एक लड़के से प्यार करने लगी हूं. वह लड़का मुझ से प्यार नहीं करता, यह बात मैं अच्छी तरह जानती और समझती हूं. मैं ने उस लड़के के कारण खानापीना कम कर दिया है, किसी दूसरे लड़के से या अपने किसी और दोस्त से बातचीत नहीं करती.
उस लड़के से एक बार बात करने से ही मेरा मन खिल उठता है, और जब बात न हो तो किसी चीज में मन नहीं लगता.
मैं उस लड़के की दोस्त हूं और दोस्त बन कर रहने में मुझे परेशानी नहीं, लेकिन जब भी वह किसी और लड़की से बात करता है या किसी और का नाम लेता है तो मेरे मन में टीस उठने लगती है. मैं उस की दोस्त बन कर रहना चाहती हूं लेकिन अपने दिल को कैसे संभालूं, समझ नहीं आता.
जवाब
दोस्त से प्यार हो जाना जायज है. आखिर वह आप के साथ रहता है, आप से अपने मन का हाल कहता है, आप का हाल सुनता है और समझता है तो ऐसे में लगता है कि यही व्यक्ति मेरे लिए सब से सही है. पर दोस्ती में यदि एकतरफा प्यार हो तो फिर दोस्ती दांव पर लग जाती है जिसे बचाना बेहद मुश्किल है.
आप को इस दोस्ती और अपने मन की खुशी में से किसी एक को चुनने की जरूरत है और यकीनन आप को खुद को ही चुनना चाहिए.
अगर आप अपने दोस्त से लगातार बात करती रहेंगी, उस के हमेशा करीब रहेंगी और अपने मन की टीस को लगातार बढ़ने देंगी तो आप हमेशा घुटती ही रहेंगी.
आप का दोस्त आप के सामने किसी और लड़की के बारे में बातें करेगा और आप का दिल टूटेगा. यह सही नहीं है. आप अपने दोस्त से दूरी बना कर रखने की कोशिश कीजिए. वह सवाल करे कि आप का व्यवहार क्यों बदल रहा है तो आप उस से कह सकती हैं कि आप अकेले रहना चाहती हैं.