करीब ढाई महीने से अस्पताल में भर्ती तमिलनाडु की मुख्यमंत्री जे.जयललिता का सोमवार देर रात निधन हो गया. अपोलो अस्पताल ने इसकी पुष्टि की है. उन्होंने रात 11.30 बजे अंतिम सांस ली. जयललिता के पार्थिव शरीर को अंतिम दर्शन के लिए राजाजी हॉल में रखा गया है और बड़ी संख्या में उनके समर्थक अंतिम दर्शन के लिए जुट रहे हैं. वहीं तमिलनाडु सरकार ने जयललिता के सम्मान में छह दिसंबर को सार्वजनिक अवकाश घोषित किया. तमिलनाडु सरकार ने 7 दिन के राजकीय शोक की घोषणा की है और स्कूलों, कॉलेजों में 3 दिन छुट्टी रहेगी.

मई में हुए 5 राज्यों के विधानसभा चुनावों में सब से ज्यादा चौंकाने वाला नतीजा था तमिलनाडु का. एग्जिट पोल जयललिता की हार की भविष्यवाणी कर रहे थे मगर जयललिता न केवल जीतीं बल्कि तमिलनाडु के राजनीतिक इतिहास में पिछले 32 सालों में ऐसा पहली बार हुआ है कि किसी पार्टी को लगातार दूसरी बार सत्ता मिली हो. यह भी तब जब जयललिता स्वास्थ्य की वजह से रैलियों और प्रचार में कम नजर आई थीं. वहीं, उन्हें चुनौती दे रहे द्रमुक के नेतृत्व ने प्रचार में पूरी ताकत झोंक दी थी. इस लिहाज से जयललिता की पार्टी का यह प्रदर्शन असाधारण कहा जा सकता है. वे देश में सब से ज्यादा बार यानी छठी बार मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने वाली नेता बनीं.

उन के राजनीतिक जीवन में बारबार यही हुआ है. लेकिन बहुत से लोग उन्हें तब से जानते हैं जब वे मासूम लड़की थीं. अद्भुत है उन की जिंदगी की कहानी तो कुछ लोग कहते हैं पूरी फिल्मी है उन की कहानी. किसी महाबिकाऊ उपन्यास से कम रोमांचक और सनसनीखेज नहीं है उन की जीवनयात्रा.

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