पूनावाला और श्रद्धा के मामले में हिंदूमुसलिम सवाल इतना उछाला गया है कि अब हिंदू प्रचारकों को एक और तरीका मिल गया है कि जिस से वे विधर्मियों को सोशल मीडिया के माध्यम से दलदल में घसीट सकें. अब सोशल मीडिया महारथी किसी भी ऐरेगैरे का इंटरव्यू एक माइक ले कर कर रहे हैं और अगर धर्म का मुद्दा भुनाया जा सके तो कहीं न कहीं उसे जगह मिल जाती है.

दिल्ली के किसी सोशल मीडिया पर न्यूज चलाने वाले ने इंटरव्यू किया ऐसे जने से जो कह रहा था कि अगर मूड खराब हो तो किसी के 35 क्या, 36 टुकड़े भी किए जा सकते हैं. यह सोशल मीडिया पर चल रहे न्यूज चैनलों का कमाल है कि वे किस का इंटरव्यू कर रहे हैं, यह न जानते हुए भी क्लिप वायरल कर देते हैं. गैरजिम्मेदार इंटरव्यू करने वाले ने यह बकवास करने वाले की पृष्ठभूमि जानने की कोशिश भी न की.

जब उस से नाम पूछा गया तो उस ने वीडियो में अपना नाम रशीद खां, बुलंदशहर से बताया. वीडियो देखने के बाद पुलिस हरकत में आई और इस रशीद खां को पकड़ लिया गया. वह एक छोटामोटा चोर निकला जिस का नाम विकास कुमार है.

हिंदूमुसलिम भेद भुनाने के लिए सिकंदराबाद पुलिस के थानेदार ने इंडियन पीनल कोड की धारा 295 ए, जो धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के लिए आजकल भरपूर इस्तेमाल की जा रही है, में एक केस भी दर्ज कर लिया.

बड़ी शिकायत न पूनावाला से है न रशीद खां यानी विकास कुमार से है, बड़ी शिकायत तो सोशल मीडिया से है जो अफवाहों को रिकौर्ड कर के यूट्यूब जैसे माध्यम से देश की शांति में खलल मचाने के लिए डाल देते हैं. सोशल मीडिया आज पावरफुल है पर केवल तोडफ़ोड़ करने वाली भीड़ की तरह, पत्थरबाजों की तरह जो बिना सोचेसमझे कुछ भी कहीं भी फेंक सकते हैं.

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