भाजपा सांसद और अभिनेत्री किरण खेर ने बात तो पते की कही थी कि, जिस गाड़ी में पहले से ही 3 लड़के बैठे थे उस में पीडि़ता को बैठने से परहेज करना चाहिए था.  चंडीगढ़ गैंगरेप के मामले में बोल रहीं किरण की मंशा दरअसल लड़कियों को एहतियात बरतने की सलाह देने की ही रही होगी कि उन्हें बेवजह के जोखिम उठाने के बजाय सुरक्षित विकल्प अपनाने चाहिए.

जब भी कहीं से गैंगरेप की खबर आती है तो हर किसी की पहली प्रतिक्रिया इसी तरह की रहती है. यह प्रतिक्रिया वादियों को रास नहीं आई. सोशल मीडिया पर किरण की जम कर खिंचाई हुई जिस का सार यह था कि हादसों के डर से सड़क पर चलना तो नहीं छोड़ा जा सकता. इस पर सफाई देने के लिए वे मजबूर हो गईं तो सहज लगा कि सलाह देना भी आजकल दुश्वार हो गया है.

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