हर महिला चाहती है कि उसका फिगर करीना या कटरीना की तरह हो और इसके लिए वे हर संभव प्रयास भी करती है लेकिन फिर भी वे अपना वजन कम नहीं कर पातीं, लेकिन इसके पीछे छिपा कारण क्या होता है इस गुत्थी को वैज्ञानिकों ने सुलझाने की कोशिश की है.

यूनिवर्सिटी ऑफ कैम्ब्रिज और यूनिवर्सिटी ऑफ मिशिगन के शोधार्थियों के साथ मिल कर किये गए शोध के अनुसार दरअसल होता यह  है कि भोजन की कैलोरी के इस्तेमाल का निर्धारण मस्तिष्क का एक खास हिस्सा करता है. इस हिस्से की संरचना महिलाओं और पुरुषों में अलगअलग होती है.

शोधकर्ताओं ने कहा कि दिमाग में बनने वाले प्रोऑपियोमेलानोकोर्टिन (पीओएमसी) पेप्टाइड हार्मोन हमारी भूख, शारीरिक गतिविधि, ऊर्जा की खपत और वजन को नियमित करते हैं. दिमाग की कोशिकाएं इस हार्मोन का स्राव करती हैं. शोधकर्ताओं ने चूहों पर प्रयोग और अध्ययन करने के बाद पाया कि मादा चूहे में पीओएमसी पेप्टाइड का यह स्रोत शारीरिक गतिविधि या ऊर्जा की खपत को बेहतर तरीके से नियंत्रित नहीं करता. शोध में पाया गया है कि मस्तिष्क के पीओएमसी पेप्टाइड्स के स्रोत पर महिला या पुरुष होने से स्पष्ट प्रभाव पड़ता है." शोधकर्ताओं ने यह भी पाया कि पीओएमसी पेप्टाइड के स्रोत को लक्ष्य कर किए गए इलाज से महिलाओं में भूख घट सकती है .

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