कई बार ऐसा होता है कि आप कही घूमने गए हैं और आपके फोन की बैटरी खत्म हो गई. ऐसे में आपके दिमाग में ख्याल आएगा कि काश मेरे पास भी पावर बैंक होता. यदि अब पावरबैंक खरीदने का सोच रहे हैं, लेकिन बाजार में बिक रहे तमाम पावर बैंक को देखकर कन्फ्यूज हैं. तो आपको बताते हैं कि पावर बैंक खरीदते समय किन-किन बातों का ख्याल रखना चाहिए.

पावर बैंक की कैपेसिटी

पावर बैंक खरीदते समय सबसे पहले आपको ये देखना होता है कि उसकी कैपेसिटी कितनी है. यहां कैपेसिटी का मतलब पावर बैंक के mAh से है. यह भी चेक करें कि पावर बैंक से निकलने वाला आउटपुट वोल्टेज आपके फोन के लिए उचित है या नहीं. यदि आउटपुट वोल्टेज फोन के चार्जिंग से कम है तो फोन चार्ज नहीं होगा. जैसे- यदि आपके फोन की बैटरी 1,500mAh की है तो आपको 3,000mAh या इससे ज्यादा पावर का पावर बैंक खरीदना चाहिए.

क्वालिटी और सेफ्टी

पावर बैंक खरीदते समय उसकी क्वालिटी का पूरा ख्याल रखें. जैसे- वह कितनी जल्दी फोन को चार्ज करता है और चार्चिंग कितनी देर चलती है, क्योंकि खराब क्वालिटी के पावर बैंक आपके फोन को भी खराब कर सकते हैं.

USB चार्जिंग ऑप्शन

पावर बैंक की सबसे बड़ी खासियत ये होती है उसमें चार्जिंग के लिए कई सारे पोर्ट हों. यानी कई सारे फोन चार्ज हो सकें. पावर बैंक में कई टाइप के कनेक्टर पोर्ट होने चाहिए जिससे मोबाइल और टैबलेट भी चार्ज हो सकें.

LED इंडिकेटर

पावर बैंक में LED इंडिकेटर का होना बहुत जरूरी है. इससे पता चलता है कि बैटरी लेवल कितनी है और पावर बैंक कितना चार्ज हो चुका है. इसलिए एलईडी इंडीकेटर वाला ही पावर बैंक खरीदें.

ब्रांड

पावर बैंक जब भी खरीदें तो ब्रांडेड ही खरीदें. इसका फायदा आपको ये होगा कि आपको पावर बैंक में बैटरी और चार्जिंग सर्किट बेहतर मिलेंगे, क्योंकि आपके फोन की कीमत पावर बैंक से कहीं ज्यादा है.

सेफ्टी

चाहे दुनिया का कोई भी काम हो. सेफ्टी का ख्याल रखना ही होता है. कई यूजर्स रात के सोते समय मोबाइल को पावर बैंक के साथ चार्ज में लगा देते हैं. ऐसे में खराब बैटरी वाले पावर बैंक ब्लास्ट भी कर सकते हैं. बेहतर होगा कि लिथियम-पॉलीमर बैटरी वाले पावर बैंक ही खरीदें. सेप्टी के मामले में लिथियम बैटरी बेहतर है.

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