दिल्ली के तालकटोरा इंडोर स्टेडियम में परफैक्ट हैल्थमेले के मंच पर कई डाक्टर, पद्म विभूषण और पद्मश्री पुरस्कार विजेताओं के बीच व्हीलचेयर पर एक साधारण सा दिखने वाला व्यक्ति भी मौजूद था. मेरा ध्यान बारबार उस व्यक्ति पर जा रहा था कि आखिर यह है कौन जो इतनी बड़ीबड़ी हस्तियों के बीच बैठा है, तभी मंच संचालक ने उन का परिचय कराया कि ये सतेंद्र सिंह लोहिया हैं जो पैरों से विकलांग हैं लेकिन इन के हौसले इतने बुलंद हैं कि इन्होंने इंग्लिश चैनल पार कर नया कीर्तिमान रच डाला.
दरअसल, इसी वर्ष 24 जून को सतेंद्र इंगलिश चैनल को पार कर इतिहास रच चुके हैं. वे इस कीर्तिमान को रचने वाले एशिया के पहले स्विमर और मध्य प्रदेश के पहले तैराक बन चुके हैं.
इंग्लिश चैनल अटलांटिक सागर का हिस्सा है, जो इंगलैंड को फ्रांस से अलग करता है और उत्तरी सागर को अटलांटिक से जोड़ता है. इसे तैर कर पार करने के लिए 35 किलोमीटर की दूरी तय करनी पड़ती है.
प्रदेश के सब से बड़े खेल पुरस्कार विक्रम अवार्ड से पुरस्कृत सतेंद्र ने इस इंग्लिश चैनल को अपने 3 साथियों के साथ महज 12 घंटे 26 मिनट में पार कर लिया. इसी सिलसिले में सतेंद्र से विस्तृत बातचीत हुई.
सतेंद्र ने बताया, ‘‘मेरा बचपन काफी गरीबी में बीता. मध्य प्रदेश के जिला भिंड के गाता गांव में हम लोग रहते थे. मेरे पिता किसान थे. हमारी 15 बीघा के आसपास जमीन थी. खेतीबारी से ही हमारा घरखर्च चलता था. हम 4 भाई हैं. हम लोगों की पढ़ाईलिखाई के लिए पिताजी को कर्ज लेना पड़ा और पिताजी कर्ज में डूब गए. कर्ज को चुकाने के लिए पिताजी ने पुश्तैनी घर और जमीन को भी बेच दिया और फिर गांव छोड़ दिया.