सवाल

2 साल पहले मेरी बहन का ओवरियन कैंसर से निधन हो गया था. उन की 2 बेटियां क्रमश: 16 और 10 साल की हैं. डाक्टरों ने बताया कि यदि मां को कैंसर है तो उन के बच्चों में भी कैंसर होने की संभावना प्रबल रहती है. अत: भविष्य में ऐसे किसी खतरे से न जूझना पड़े इस के लिए हमें क्या करना चाहिए?

जवाब

बेटियों में ओवरियन कैंसर का खतरा (आम आबादी की तुलना में 3 से 6 गुना अधिक) ज्यादा रहता है. दोनों बेटियों के लिए फिलहाल यही सुझाव है कि हर साल वे सीए125 की जांच कराती रहें और ओवरियन कैंसर का पता लगाने के लिए ट्रांसवैजिनल अल्ट्रासाउंड करवा लें. उन्हें बीआरसीए1 तथा बीआरसीए2 जैसी जैनेटिक म्यूटेशन जांच भी करा लेनी चाहिए. यदि इस के परिणाम पौजिटिव आते हैं, तो बच्चे नहीं पैदा करने का फैसला करते हुए उन्हें खतरे कम करने वाली साल्पिंगो उफोरेक्टोमिया (इस सर्जिकल प्रक्रिया में महिला की ओवरी और फैलोपियन ट्यूब्स निकाल दी जाती हैं) पर भी विचार करना चाहिए. इस तरह की जांच की सलाह आमतौर पर 30-35 साल की महिलाओं को दी जाती है.

लेकिन आप अपनी बहन की बेटियों की यह सर्जिकल प्रक्रिया मां के ओवरियन कैंसर से पीडि़त होने की उम्र से 10 साल कम उम्र में करा सकती हैं. वे कम उम्र में भरापूरा परिवार पाने के बाद इस खतरे को कम करने के लिए ओवरी निकलवा सकती हैं.

अगर आपकी भी ऐसी ही कोई समस्या है तो हमें इस ईमेल आईडी पर भेजें submit.rachna@delhipress.biz

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