दुनियाभर में हार्ट संबंधित रोग बुजुर्गों में ज्यादा देखने को मिलते थे, अब युवाओं में भी ये समस्याएं उभरने लगी हैं. युवाओं में इन के होने का बड़ा कारण खानपान, रहनसहन, प्रदूषण और टोबैको उत्पादों का अत्यधिक सेवन करना है. उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ का संजय गांधी पोस्ट ग्रेजुएट इंस्टिट्यूट औफ मैडिकल साइंसेस, जिस को एसजीपीआई के नाम से जाना जाता है, उत्तर भारत का बहुत ही मशहूर अस्पताल है. राजधानी लखनऊ से 11 किलोमीटर दूर रायबरेली रोड पर बना है.

यहां हार्ट और गुर्दा रोगों के इलाज के लिए दूरदूर से लोग आते हैं. कोर्डियोलौजी का एक बड़ा विभाग है. एसजीपीआई रेफरल अस्पताल है, जिस का मतलब यह होता है कि यहां दूसरे अस्पताल से रेफर हो कर मरीज आते हैं. यहां की ओपीडी में हर रोज करीब 100 नए मरीज आते हैं. मरीज गंभीर हालत में ही यहां आते हैं. हार्ट मरीजों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है. डाक्टर सुदीप कुमार इस अस्पताल के कार्डियोलौजी विभाग में प्रोफैसर हैं. डाक्टर सुदीप कुमार केवल डाक्टर ही नहीं, हार्ट रोगों को ले कर समाज को जागरूक करने का काम भी वे करते हैं.

वे एक बहुत ही अच्छे साइक्लिस्ट हैं. करीब 35 हजार किलोमीटर की साइकिल यात्रा वे कर चुके हैं. लखनऊ और आसपास के क्षेत्रों में 100 किलोमीटर के दायरे में आनेजाने के लिए कई बार वे साइकिल का उपयोग करते हैं. वे लोगों को जागरूक करते हैं. प्रोफैसर सुदीप कुमार कहते हैं, ‘‘साइक्ंिलग सब से अच्छी कार्डियो ऐक्सरसाइज है. यह कैलोरी घटाती और मोटापा कम करती है. इस में तनाव कम करने की भी क्षमता होती है. नियमित भीड़भाड़ वाले इलाके से हट कर साइक्ंिलग करने से दिल और फेफड़े अच्छे से काम करते हैं.’’

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