70 सावन पार कर चुके माजिद मेनन ठीक वैसे ही वकील हैं जैसे फिल्मों में दिखाए जाते हैं. रोबदार, सूटबूट और टाई वाले वकील जिन की दलीलें सुन अदालत भी सन्नाटे में आ जाती है और चश्मदीद गवाह लड़खड़ाने लगते हैं. मुंबई के अंडरवर्ल्ड में माजिद मेनन की खासी पूछपरख की एक और वजह उन का शरद पवार की पार्टी एनसीपी से राज्यसभा सदस्य होना भी है. हालांकि, वे राजनीति से जुड़े मसलों में वक्त जाया करने में यकीन नहीं करते, जिसे उन की समझदारी माना जाता रहा है. बीते दिनों जैसे ही सुप्रीम कोर्ट के 23 जजों की नियुक्ति की सूची जारी हुई तो मेनन का सब्र और उन की समझ दोनों जवाब दे गए. उन्होंने एतराज यह जताया कि इस लिस्ट में एक भी मुसलिम नाम नहीं है जिस से सरकार की नीयत पर शक होता है. जजों की नियुक्ति धर्म के आधार पर नहीं होती, यह भी उन्होंने माना लेकिन खुद की नीयत बातबात में जता दी कि वे तो थे न.

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