स्पेक्ट्रम ऑक्शन से कन्जयूमर्स को हर हाल में फायदा होगा. कंपनियों के और स्पेक्ट्रम खरीदने से उनकी डेटा स्पीड बढ़ेगी और कॉल ड्रॉप की प्रॉब्लम भी कम होगी. टेलिकॉम कंपनियों ने 2300 Mhz और 1800 Mhz के 4G बैंड में सबसे अधिक दिलचस्पी दिखाई है. इसके बाद 2100 Mhz के 3G बैंड में उनका इंट्रेस्ट दिख रहा है.

ऐनालिस्टों और इंडस्ट्री एक्सपर्ट्स का कहना है कि इससे कम स्पेक्ट्रम की समस्या खत्म हो जाएगी. ऑक्शन के बाद कंपनियों के पास पर्याप्त एयरवेव्स होंगे, जिससे वॉयस और डेटा सर्विसेज की क्वॉलिटी बेहतर होगी.

कंपनियों का ध्यान अभी डेटा स्पेक्ट्रम हासिल करने पर है. जानकारों का कहना है कि हायर स्पीड डेटा टेक्नॉलजी को अपनाने की वजह से आगे चलकर काफी वॉयस कपैसिटी फ्री होगी, जिससे कॉलड्रॉप की समस्या पर काबू पाने में मदद मिलेगी.

ईवाई में ग्लोबल टेलिकम्युनिकेशंस लीडर प्रशांत सिंघल ने बताया कि फ्रेश स्पेक्ट्रम से ओवरऑल डेटा नेटवर्क्स में काफी सुधार होगा. उनके मुताबिक, इससे मोबाइल ई-कॉमर्स को बढ़ावा मिलेगा. सिंघल ने बताया कि कन्ज्यूमर्स की तरफ से इन्फोटेनमेंट और डिजिटल सर्विसेज की मांग बढ़ सकती है.

उन्होंने यह भी कहा कि 2100 Mhz में नीलाम किए जा रहे 3G एयरवेव्स और 1800 Mhz बैंड के स्पेक्ट्रम का इस्तेमाल शुरू होने के बाद कॉल ड्रॉप्स काफी कम होंगे. सिंघल के मुताबिक, कन्ज्यूमर्स को इसका फायदा तभी मिलेगा, जब कंपनियां अधिक टेलिकॉम टावर लगाएंगी. उन्होंने बताया कि मार्च 2017 से पहले नए स्पेक्ट्रम का इस्तेमाल शुरू नहीं हो पाएगा.

एक बड़ी टेलीकॉम कंपनी के सीनियर एग्जिक्युटिव ने बताया कि अधिक डेटा स्पेक्ट्रम मिलने से डेटा स्पीड में कम-से-कम 40 पर्सेंट की बढ़ोतरी होगी. इससे कन्ज्यूमर को हाई स्पीड डेटा सर्विस मिलेगी.

उन्होंने कहा कि ऐसा होने पर 4G यूजर्स तेजी के साथ मूवी या गाना डाउनलोड कर पाएंगे. उन्होंने बताया कि ब्राउजिंग और विडियो देने का एक्सपीरियंस भी पूरी तरह बदल जाएगा.

टेलिकॉम कंपनियों की बिडिंग से वाकिफ एक अन्य सूत्र ने बताया कि विडियो स्ट्रीमिंग में आसानी से कंपनियों को अधिक यूजर्स को ब्रॉडबैंड में शिफ्ट करने में मदद मिलेगी. उन्होंने बताया कि बिना बफरिंग के विडियो स्ट्रीमिंग के लिए कंपनियों को स्पेक्ट्रम कपैसिटी बढ़ानी होगी.

सरकार इस ऑक्शन में रिकॉर्ड 2300 Mhz स्पेक्ट्रम बेच रही है. अभी देश की टेलिकॉम कंपनियों के पास इससे कम स्पेक्ट्रम है. केंद्र ने साफ कर दिया है कि इसके बाद खराब सर्विस के लिए स्पेक्ट्रम की कमी का बहाना नहीं चलेगा.

टेलिकॉम सेक्रटरी जे एस दीपक ने हाल ही में कहा था कि ऑक्शन के बाद देश में स्पेक्ट्रम की कमी हमेशा के लिए खत्म हो जाएगी. इससे क्वॉलिटी बेहतर होने की उम्मीद है.

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