8 मार्च यानि अन्तरराष्ट्रीय महिला दिवस का दिन दुनिया की तमाम महिलाओं को समर्पित है. महिला दिवस महिलाओं के आर्थिक, राजनीतिक और सामाजिक उपलब्धियों के तौर पर मनाया जाता है. आज महिलाएं पुरुष प्रधान समाज को बराबरी की टक्कर दे रही हैं. हर क्षेत्र में महिलाएं पुरुषो की बराबरी कर रही हैं या उनसे आगे निकल चुकी हैं. चाहे वह अंतरिक्ष में जाने की बात हो या फिर फिल्मों की. बात अगर फिल्मों की करें तो आज अभिनेत्रियां हर लिहाज से हीरो को चुनौती दे रही हैं. वे एक्शन और स्टंट सीन कर रही हैं साथ ही अपने बलबूते पर फिल्म हिट करा रही हैं.

आज अभिनेत्रियां अबला नारी के किरदार की बजाय में दमदार किरदार का चयन कर रही हैं. वह पर्दें पर सिसकती या दुबकती नहीं बल्कि तलवार और बंदूक लेकर अपनी अदाएं दिखा रही हैं. दूसरा अहम मुद्दा बौलीवुड में अभिनेत्रियों की कम फीस को लेकर गरमाया रहता है. लेकिन अब यह सोच बदल रही है. इंडस्ट्री में कई ऐसी अदाकारा हैं जो हीरो से ज्यादा फीस पा रही हैं. फिल्म पद्मावत में दीपिका पादुकोण को रणवीर सिंह और शाहिद कपूर से ज्यादा फीस मिली. विद्या बालन, कंगना रनौत जैसी हीरोइंस अपने दम पर फिल्म को सुपरहिट करा रही हैं. दिवंगत अभिनेत्री श्रीदेवी, कंगना रनौत, विद्या बालन, रानी मुखर्जी, तापसी पन्नू, जायरा वसीम जैसी कई अभिनेत्रियों ने महिलाओ के मुद्दे पर आधारित फिल्मे बनाकर फिल्म को अपने दम पर सुपरहिट करवाया है.

इसके साथ ही बौलीवुड में महिलाओ पर आधारित भी कई फिल्में बन चुकी हैं और आगे भी बनेंगी. खास बात यह है कि बाकी फिल्मों के मुकाबले दर्शक महिलाओं पर आधारित फिल्में देखना ज्यादा पसंद करते हैं. सबसे अहम बात यह है कि बौलीवुड में अब अभिनेत्रियों के लिए स्क्रिप्ट लिखी जाने लगी है. इसी शानदार पहल को आगे बढ़ाते हुए एक नजर डालते हैं बौलीवुड की वूमेन्स सेंट्रिक फिल्मस और अभिनेत्रियों की फीस पर....

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