क्रिकेट खेलते वक्त खिलाड़ियों का जोश सातवें आसमान पर रहता है और ऐसे वक्त पर भावनाओं का फूटना लाजमी है. कई बार मैदान में ही ये इमोशन खिलाड़ियों के गुस्से के तौर पर फूटकर बाहर आ जाता है. खेल का मैदान इतिहास में कई ऐसे विवादों का गवाह बन चुका है जब खिलाड़ी एक दूसरे को मारने के लिए उतारू हो गए हों. हालांकि मैदान के भीतर के विवाद दर्शकों और खिलाड़ियों के बीच भी कई बार देखे जा चुके हैं. कुछ ऐसा ही हुआ था भारत पाकिस्तान के बीच खेले गए एक मैच में.
दरअसल पाकिस्तान के इंजमाम उल हक मैच के दौरान एक दर्शक की हरकत से इतने परेशान हो गए कि वह उसे बैट उठाकर मारने के लिए दौड़े थे. यह बात 14 सितंबर 1997 की है जब भारत व पाकिस्तान के बीच सहारा कप का दूसरा वनडे मैच खेला जा रहा था. इस मैच में पाकिस्तान टीम ने पहले बल्लेबाजी की और पूरी टीम कुछ खास नहीं कर सकी और 116 रनों पर ढेर हो गई.
निराश और हताश इंजमाम मैच में कुछ खास नहीं कर सके और मात्र 10 रन (34 गेंद) के साथ पवेलियन लौट गए. उस मैच में कुछ दर्शकों को मैदान पर होमोफोन लाने की भी अनुमति दी गई थी जिसे लेकर वे अपनी टीम के खिलाड़ियों का मनोबल बढ़ा रहे थे.
लेकिन इसी बीच मैदान पर जानें क्या हुआ कि दर्शकों ने फील्डिंग पर लगे खिलाड़ियों का मजाक बनाना शुरू कर दिया. यह सिलसिला पाकिस्तान की पारी से ही शुरू हो गया था. उन्होंने इसका सबसे पहला निशाना भारतीय कप्तान मोहम्मद अजहरुद्दीन को बनाया और उनकी पत्नी संगीता बिजलानी को छोड़ने को लेकर मैदान में लोगों ने खूब फब्तियां कसीं.
उन्होंने बाद में देबाशीष मोहंती को निशाना बनाया और उन्हें कालिया कालिया कह कर चिढ़ाने लगे. लेकिन दोनों क्रिकेटर शांत होकर मैदान में खड़े रहे व किसी ने भी दर्शकों के इन नापाक हरकत का जवाब देना ठीक नहीं समझा.
लेकिन अब बात आई पाकिस्तानी खिलाड़ी इंजमाम उल हक की उन्हें लोग मोटा आलू, सड़ा आलू कह कर मैदान में चिढ़ाने लगे. इंजमाम इस बात को लेकर आग बबूला हो गए और दर्शकों पर टूट पड़े. यकीन नहीं आता तो देखें वीडियो.
बाद में मीडिया खबरों में पुष्टि हुई कि जिस दर्शक के ऊपर वे बल्ला लेकर टूट पड़े थे उसका नाम थिंड था जो एनआरआई था. कुछ प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि अगर भीड़ में मौजूद लोग व पुलिस इंजमाम को नहीं पकड़ती तो ये बात पक्की थी कि इंजमाम उसका सिर फोड़ देते.
लेकिन इसके बाद सबसे बड़ा सवाल जो कई दिनों तक चर्चा में रहा कि इंजमाम जो सीमा रेखा पर क्षेत्ररक्षण कर रहे थे उनके हाथ में बैट कहां से आया. बहरहाल इसके बारे में यह कहा गया कि यह बैट पाकिस्तान के 12वें खिलाड़ी ने इंजमाम को लाकर दिया था.
मैच में इस बवाल के मचने के चलते मैच को 40 मिनट के लिए रोकना पड़ा. इस दौरान भारत के कप्तान सचिन तेंदुलकर और पाकिस्तान के कप्तान रमीज राजा ने मैदान पर मौजूद दर्शकों को बिठाने के लिए विनती की. बाद में भारत ने इस मैच को बड़ी आसानी से जीत लिया.
बाद में जब एक साक्षात्कार में इंजमाम से पूछा गया कि आखिर हुआ क्या था तो इंजमाम ने बताया कि वह उसे मारने नहीं गए थे बल्कि बात करने गए थे कि आखिर वह मुझे अनाप शनाप क्यों बोल रहा है. उन्होंने बताया कि उसकी बातों से वे उत्तेजना में आ गए थे.
इंजमाम उल हक बाद में पाकिस्तान के कप्तान भी बनें और कई मैचों में पाकिस्तान के लिए मैच जिताऊ पारियां भी खेली. इंजमाम ने 2007 के विश्व कप के बाद अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट को अलविदा कह दिया था.