कृष्ण को मारने की कोशिश करने वाले कंस मामा के नाम से कुविख्यात कंस को कौन नहीं जानता. कंस ने अपने पिता उग्रसेन को राज पद से हटा कर जेल में डाल दिया था और स्वयं शूरसेन जनपद का राजा बन बैठा था. शूरसेन जनपद के अंतर्गत ही मथुरा आता है. कंस के काका शूरसेन का मथुरा पर राज था. जल्द ही कंस ने मथुरा को भी अपने शासन के अधीन कर लिया था और अथाह दौलत और राजपाठ का अकेला स्वामी बन गया था.

इसी तरह कैकई का राजपाठ, वैभव और धन दौलत के प्रति प्यार भी छिपा नहीं है. उस ने अपने ही सौतेले बेटे राम को जंगल भेज कर अयोध्या के सारे ऐश्वर्य और दौलत पर अपने बेटे भरत के जरिए एकाधिकार का सपना देखा था.

मतलब यह कि प्राचीन काल से दौलत और वैभव की चकाचौंध में लोगों ने अपनों को धोखे दिए और सब कुछ हड़पने का प्रयास किया है. आज भले ही राजपाठ नहीं मगर दौलत का लालच रिश्तों की हत्या करने का सबब बना हुआ है.

इस 19 दिसंबर को रुपयों को ले कर हुए विवाद में मुजफ्फरनगर में एक इकलौते बेटे ने अपने पिता की गोली मार कर हत्या कर दी. इतना ही नहीं उस ने बहन को तमंचे से डरा कर कमरे में बंद कर दिया और वारदात के बाद आरोपी फरार हो गया.

दरअसल मुजफ्फरनगर में गांव करौदा महाजन निवासी किसान शिवराज (52) की चार बीघा जमीन ग्रीन कौरिडोर में अधिग्रहित की गई थी. किसान को लगभग 70 से 80 लाख रुपए मुआवजा मिला. रुपयों को ले कर शिवराज और उसके इकलौते बेटे 25 वर्षीय सूरज में विवाद चल रहा था. शिवराज ने रुपए देने से इनकार कर दिया था. इस से गुस्साए सूरज ने घर में मौजूद अपनी बहन अंशु को कमरे में बंद कर दिया और तमंचे से पिता के सिर में गोली मार दी.

इसी तरह 18 Dec 2023 को आगरा में बंटवारे के विवाद में छोटे भाइयों ने जमीन बंटवारे के विवाद में बड़े भाई को घर बुला कर कातिलाना हमला किया. वह जान बचा कर भागा तो सड़क पर गिरा कर लोहे की रौड से ताबड़तोड़ प्रहार कर उस के दोनों पैर तोड़ दिए.

घटना को अंजाम देने वाले इमरान, फारूक और अरशद तीन भाई हैं. जमीन के बंटवारे पर बात करने इन तीनों ने जोगीपाड़ा से बड़े भाई शाहरुख को घर पर बुलाया. परिवार के लोग घर पर बैठ कर आपस में बातें कर रहे थे. इसी दौरान विवाद हुआ. छोटे भाइयों ने भतीजे के साथ मिल कर शाहरुख से मारपीट की. वह भागने लगे तो सब से छोटा भाई इमरान लोहे की रौड ले कर आ गया. शाहरुख को बीच सड़क पर गिरा कर सिर फोड़ दिया. इस के बाद भी लगातार दोनों घुटनों पर वार करता रहा. बाद में पुलिस ने घायल को गंभीर हालत में अस्पताल में भर्ती कराया. इस तरह की घटनाएं आए दिन होती रहती हैं.

संपत्ति के मामले में कुछ बातों का ध्यान रखें

दरअसल संपत्ति के मामलों में थोड़ी सी भी लापरवाही उचित नहीं. एक सम्मान पूर्ण आत्मनिर्भर जिंदगी के लिए पैसों की आवश्यकता होती है. अक्सर बुजुर्ग अपनी सारी दौलत बेटों के नाम कर खुद ही उन की मेहरबानी के मोहताज बन कर रह जाते हैं. ऐसा कतई न करें. अपनी भावनाओं पर नियंत्रण रखें. वरना आप के अपने ही आप को बेवकूफ बना कर या आप को चोट पहुंचा कर सब कुछ हड़प लेंगे.

अपने आगे बच्चों के बीच संपत्ति का बंटवारा करने के बजाए अपने बच्चों को इस योग्य बनाएं कि वे खुद धन कमाना सीखें. अपने जीते जी अपनी पूरी संपत्ति संतानों के नाम न करें. न ही संपत्ति को हाथ का मैल समझ कर दूसरों पर या दान दक्षिणा में लुटाएं.

अपनी संपत्ति का उपयोग सही कामों में करें. याद रखें संपत्ति के आगे कोई रिश्ता काम नहीं आता. संपत्ति के लिए रिश्तेदार कुछ भी कर सकते हैं इसलिए इस मामले में बहुत सावधान रहें.

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