दुनिया की आबादी जितनी तेजी से बढ़ रही है, उतनी ही रफ्तार से सड़कों पर गाड़ियों की संख्या में भी इजाफा हो रहा है. आपको जानकर हैरानी होगी कि यह इजाफा इतनी तेज गति पकड़ चुका है कि अब दुनिया की कुछ सड़कों पर गाड़ियां चलती नहीं, बल्कि रेंगती नजर आती है. बात चाहे हिंदुस्तान की हो या फिर चीन और अमेरिका की, यह दृश्य हर कहीं आसानी से देखा जा सकता है.

अगर आपको ऑफिस टाइम पर पहुंचना हो तो ट्रैफिक सबसे बड़ी समस्या बनकर उभरता है. ऐसे में गूगल ने आपकी मदद करने के लिए एक सीक्रेट प्लान तैयार किया है. गूगल जल्द ही बाजार में अपनी फ्लाइंग कार पेश कर सकता है.

दरअसल गूगल के सह संस्थापक लैरी पेज फ्लाइंग कार के दो स्टार्ट-अप पर काम कर रहे हैं, जिसमे से एक के लिए अभी तक करीब 100 मिलियन की राशि भी जुटाई जा चुकी है.

इस स्टार्ट-अप के लिए नासा के अनुसंधान केंद्र में विनिर्माण सुविधा उपलब्ध है. आपको बता दें कि बीते साल भी पेज ने इसी तरह के एक प्रतिस्पर्धी मॉडल बनाने वाले स्टार्ट-अप किटी हॉन्क को फंडिंग की थी.

किटी हॉन्क ने करीब एक दर्जन इंजीनियरों की भर्ती की थी. इसका मुख्यालय जी एरो से करीब आधे मील की दूरी पर है. यहां पर ड्रोन जैसे दिखने वाले एक विशाल संस्करण पर काम चल रहा है. पेज जिन्हें उनके कर्मचारी गॉय अपस्टेयर (जीयूएस) के नाम से भी जानते हैं, उन्होंने मांग रखी है कि इस स्टार्टअप में उनकी भागेदारी को गुप्त ही रखा जाए.

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