रमा समाज में फैली उस सोच का शिकार थी जिस के तहत बहुएं एक अलग किस्म की प्राणी हैं, जिन से ज्यादा दूरी या करीबी दोनों ही बुरी है. लेकिन, क्या वह अपनी सोच को सही दिशा दे पा रही थी?