पति के दिल का रास्ता पेट से हो कर जाता है. इस कहावत के मद्देनजर पति का प्यार पाने के लिए पत्नी को तरहतरह के लजीज व्यंजन बना कर उसे खिलाने होंगे. वहीं आज की व्यस्त और भागदौड़ भरी जिंदगी में कामकाजी महिला के पास समय कम होने की वजह से घर में सभी काम के लिए मेड रख ली जाती है, जो खाने से ले कर कपड़े, बरतन, साफसफाई सभी कार्य निबटाती है. ऐसे में कोई कामकाजी महिला पति के दिल में कैसे जगह बनाए, इस के लिए भी रास्ता मौजूद है. उस रास्ते को अपनाइए, फिर देखिए रसोई के काम कैसे आसान हो जाते हैं.
रसोई प्रबंधन
वर्तमान समय में भागदौड़ भरी जिंदगी में समय की कमी को दूर करने के लिए रसोई प्रबंधन बेहद जरूरी है. ऐसा करने से रसोई के काम आसान हो जाते हैं. कैसे, आइए जानें :
घर के सभी काम अपनी मेड से करवाएं पर रसोई का काम खुद करें, खासकर खाना बनाने का काम. आजकल ‘रेडी टु ईट’ वाले हैल्दी फूड मार्केट में मिलते हैं. उन को आप बहुत ही कम समय में बना सकती हैं. ये कुक्ड, अनकुक्ड और रेडी मिक्स फूड होते हैं. आप इन्हें खरीद कर रसोई का काम मिनटों में कर सकती हैं.
नाश्ते और दोपहर के खाने की तैयारी पिछली रात में ही कर लें, जैसे सब्जी काटना, आटा गूंधना आदि. इस से सुबह के समय आसानी होगी.
रात की बची हुई दाल का सांभर बना कर परोस सकती हैं या दाल को आटे में गूंध कर उस के परांठे या पूरियां बना लें. नाश्ते के लिए ये हैल्दी और बैस्ट औप्शंस है.
खड़ी दाल, राजमा या छोले बनाने हों तो उन्हें रात में ही धो कर भिगो दें. इस से कुकिंग टाइम के साथ रसोई गैस की भी बचत होती है.
होममेड गार्लिक, जिंजर, ग्रीन चिली, ओनियन का पेस्ट बना लें. उस पेस्ट में एक छोटा चम्मच गरम तेल और थोड़ा सा नमक मिला देने से वह ज्यादा दिनों तक फ्रैश रहता है. फिर इस से ग्रेवी वाली सब्जी बनाने में ज्यादा समय नहीं लगता.
पति करें मदद
अगर पति को पत्नी के हाथों का बना खाना ही खाना है तो उन्हें चाहिए कि वे घर के कामों में पत्नी की मदद करें. कामकाजी पत्नी को जब पति से मदद मिलेगी तो उस की पसंद की चीजें बनाने में उस की रुचि जरूर रहेगी. जब दोनों पैसा कमाते हैं तो घर के काम भी दोनों को करने चाहिए. इस से दोनों में प्रेम भी बढ़ेगा.
रसोई संभालने के फायदे
- खुद खाना बनाने से महिला अपने परिवार से भावनात्मक रूप से जुड़ी रहेगी और अपने पति व बच्चों की पसंद को भी समझेगी.
- जब पत्नी खुद रसोई संभालेगी तो साफसफाई का विशेष ध्यान रखेगी जो उस के परिवार के स्वास्थ्य के लिए बहुत फायदेमंद होगा.
- खुद खाना बनाने से मालूम रहेगा कि कौन सा सामान कितनी मात्रा में बनाना है. बजट के अनुसार ही आप खर्च करेंगी. कोई भी चीज बरबाद नहीं होगी.
- वैसे भी रसोई की पत्नी द्वारा देखभाल किया जाना बहुत जरूरी है. इस से रसोईघर व्यवस्थित रहता है.
- खुद खाना बनाने से पैसों की बचत, सामान की बचत और स्वास्थ्यवर्द्धक खाना बनने के साथसाथ कई दूसरे लाभ भी होते हैं.
- खुद के खाना बनाने से आप अपने पति व परिवार को ज्यादा पौष्टिक व ज्यादा स्वादिष्ठ खानपान दे सकती हैं.
- आप के रसोई में काम करने से परिवार में प्यार और अपनत्व की भावना का विकास होगा.
- पत्नी रसोई में काम करेगी तो वह अपनी सुविधा और समय के अनुसार काम करेगी.
- आप टैंशनमुक्त हो कर परिवार के खानपान पर अच्छी तरह से ध्यान दे पाएंगी.
- खाना बनाने के काम में घर के सदस्यों को भी शामिल किया जा सकता है. इस से काम का प्रैशर ज्यादा नहीं रहेगा.
पैक्ड फूड
कामकाजी महिलाओं के लिए पैक्ड फूड काफी सुविधाजनक होते हैं. पैक्ड दाल, चावल लाने से समय की बचत होती है. उन्हें न बीनना न साफ करना, सिर्फ धोना और पकाना होता है. आज इन्हीं पैक्ड फूड की वजह से महिलाओं की जिंदगी काफी आसान हो गई है.पत्नी इन सब बातों का ध्यान रखेगी तो वह अपने पति की चहेती बनने के साथसाथ उन के स्वास्थ्य और सेहत का भी ध्यान रख पाएगी. इतना ही नहीं इस से आपस में मिलजुल कर काम करने के साथ प्रेम की भावना का विकास भी होगा.