29जून, 2022 सुबह का वक्त था. मध्य प्रदेश के दमोह जिले के पथरिया पुलिस थाने में तैनात टीआई रजनी शुक्ला थाने पहुंची ही थीं कि अचानक उन की नजर थाने के बाहर बैठी एक महिला पर पड़ी. लगभग 35 साल की महिला जोरजोर से रो रही थी.

टीआई रजनी शुक्ला ने सोचा कि जरूर इस औरत को उस के पति ने मारापीटा होगा, उसी की रपट लिखाने आई होगी. टीआई रजनी शुक्ला ने उस के करीब जा कर  सहानुभूतिपूर्वक पूछा, ‘‘क्या बात है, तुम रो क्यों रही हो? जो भी समस्या है साफसाफ मुझे बताओ.’’

अपने आंसुओं को साड़ी के पल्लू से पोंछते हुए उस महिला ने बताया, ‘‘मैडमजी, मेरा नाम सावित्री है और मैं मिर्जापुर गांव से आई हूं.’’

‘‘क्या तुम्हारे साथ किसी ने बदसलूकी की है? खुल कर बताओ.’’

36 साल की सावित्री पटेल रोती हुई बोली, ‘‘मेरे पति बबलू पटेल, जिन की उम्र 37 साल है, कल रात से घर नहीं पहुंचे हैं. वह रात को गांव में ही एक कार्यक्रम में गए हुए थे, लेकिन वापस नहीं लौटे हैं. मुझे आशंका है कि उन के साथ कोई अनहोनी न हो गई हो.’’

यह सुनने के बाद टीआई शुक्ला उस महिला को वहां से अपने कक्ष में ले गईं और कुरसी पर तसल्ली बैठा कर उन्होंने उस से पूछा, ‘‘आखिर तुम्हें अनहोनी की आशंका क्यों है, उन का किसी से लड़ाईझगड़ा हुआ है क्या?’’

‘‘हां मैडम, कल उन का पड़ोस में रहने वाले एक किसान से झगड़ा हुआ था, मुझे अंदेशा है कि कोई उन की जान ही न ले ले.’’ सावित्री बोली.

‘‘तुम चिंता मत करो, हम तुम्हारे पति को जल्द ही खोज निकालेंगे.’’ टीआई ने सावित्री को दिलासा दी और उस से कुछ जानकारी लेने के बाद बबलू की गुमशुदगी दर्ज कर ली. इस के बाद उन्होंने सावित्री को घर भेज दिया. पुलिस ने अपने स्तर से बबलू के लापता होने की जांच शुरू कर दी.

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