अक्टूबर में प्याज की कीमत पिछले साल के इसी महीने के मुकाबले 80% और अक्टूबर 2014 से तकरीबन 66% कम है. साथ ही, केंद्र और राज्य सरकार की एजेंसियों की तरफ से खरीदा गया 50% प्याज पहले ही वेयरहाउसों में सड़ रहा है. लासलगांव एपीएमसी में प्याज की न्यूनतम कीमत पिछले दो महीने से 2 रुपये प्रति किलो है, जबकि कर्नाटक से खरीफ सीजन के प्याज की आवक भी शुरू हो गई है.

एसएफएसी केंद्र सरकार की तरफ से तैयार किए गए प्राइस स्टैबलाइजेशन फंड (पीएसएफ) का मैनेजर है. हालांकि, एजेंसी के टॉप अधिकारियों ने इसके प्रोक्योरमेंट ऑपरेशंस के बारे में जानकारी साझा करने से मना कर दिया. महाराष्ट्र के प्याज कारोबार से जुड़े सूत्रों के मुताबिक, नेफेड और एसएफएसी की तरफ से खरीदे गए 50 फीसदी से भी ज्यादा प्याज के सड़ जाने का अनुमान है. बाकी प्याज औसतन खरीद मूल्य के महज 50 फीसदी पर बेचे गए.

एसएफएसी ने 12,567 टन प्याज की खरीदारी की थी और 15 सितंबर के मुताबिक, एजेंसी सिर्फ 5,518.55 टन प्याज बेच सकी. हालांकि, एसएफएसी के टॉप अधिकारियों ने सड़ चुके प्याज और एजेंसी को हुए नुकसान के बारे में जानकारी नहीं दी. मध्य प्रदेश सरकार ने 62 करोड़ का 10.42 लाख टन प्याज खरीदा था. इनमें से 70 फीसदी प्याज वेयरहाउसों में ही सड़ गए. नेशनल एग्रीकल्चरल को-ऑपरेटिव मार्केटिंग फेडरेशन (नेफेड0 ने 5,000 टन प्याज खरीदा था.

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