हर इंसान के अपने कुछ सपने होते हैं, जिन्हें वह चाहकर भी पूरा नहीं कर पाता है. श्रीदेवी अपने समय की मशहूर अदाकारा थीं. उनके पास सुख सुविधा व हर तरह के साधन मौजूद थें, पर 54 साल की उम्र में मौत को गले लगा लेने के साथ ही उनका यह सपना अधूरा रह गया.

अपने इस अधूरे सपने को लेकर लगभग आठ माह पहले श्रीदेवी ने हमसे कहा था -‘‘बचपन से मुझे पेंटिंग्स का शौक रहा है. मैं हमेशा पेंटिंग्स करना चाहती थी. पेंटिंग्स मेरा पैशन भी रहा है. लेकिन कुछ वजहों से मैंने पेंटिंग्स करना छोड़ दिया था.

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लेकिन शादी के बाद जब मैंने अपने बच्चों का होमवर्क करवाना शुरु किया, तो उनके लिए मैं ड्रौइंग बनाती थी. मेरी बेटियों ने कहा कि मम्मा आप तो बहुत अच्छी ड्रौइंग कर लेती हैं. आपको तो पेटिंग बनानी चाहिए.

तब मैंने फिर से पेटिंग्स बनाना शुरू किया. मेरी एक पेंटिंग अमरीका के न्यूयौर्क शहर की एक आर्ट गैलरी में खरीद कर रखी गई है. मैंने बहुत पेंटिंग्स बनाई हैं. लेकिन कुछ साल बाद मैंने फिर पेंटिग बनाना छोड़ दिया. तो यह मेरा एक सपना है, जिसे मैं पूरा करना चाहती हूं. मैं चाहती हूं कि नए सिरे से अच्छी पेंटिंग बनाना शुरू करूं.

मैं अपनी पेंटिंग की प्रदर्शनी भी लगाना चाहती हूं. पेंटिंग्स के बिकने से जो पैसा मिले, उससे चैरिटी करना चाहती हूं. मैंने जो भी पेंटिंग बनायी हैं, वह सारी मूड पर हैं. कुछ पेंटिंग्स मेडीटेशन को लेकर हैं. कुछ पेंटिंग शाम के मूड पर हैं.’’

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