अकसर लोग नौकरी लगने के बाद इत्मिनान से जिन्दगी बिताते हैं. मजे से गुजर-बसर करते हैं और रिटायरमेंट की चिंता करना तो दूर, आने वाले दिनों तक की चिंता नहीं करते. ऐसी सोच रखने वालों को इसका खामियाजा भी जल्द ही भुगतना पड़ता है. प्राइवेट जॉब वालों के लिए तो यह बेपरवाही बहुत सी मुसीबतों का सबब बन सकता है. क्योंकि प्राइवेट जॉब में ज्यादा अनिश्चिततायें होती हैं.

नौकरी के बाद अपने रिटायरमेंट को बेहतर बनाने का सबसे अच्छा तरीका है, कि आप आज ही से रिटायरमेंट के बारे में सोचना शुरू कर दें. यह अभी से तय कर लें कि आप रिटायरमेंट के बाद कैसा जीवन गुजारना चाहते हैं. उसी के हिसाब से अपनी जिन्दगी के  फैसले लें.

एक सर्वे के मुताबिक 80 फीसदी लोग रिटायरमेंट की प्लैनिंग नहीं कर पाते हैं. जो लोग प्लैनिंग करते भी हैं वे कुछ सामान्य गलतियां कर देते हैं जिसका खामियाजा रिटायरमेंट के दौरान और रिटायर होने के बाद भुगतना पड़ता है.

रिटायरमेंट से पहले इन गलतियों को करने से बचें

1. अपने खर्चों का सही अंदाजा नहीं लगा पाना

सबसे जरूरी है इस बात का अनुमान लगाना कि रिटायरमेंट के बाद आपका खर्च कितना होगा. यानी अपनी जरूरतों का सही अनुमान लगाना बहुत जरूरी है. अगर आंकलन सही नहीं किया गया तो आपका रिटायरमेंट फंड कम पड़ सकता है. इसलिए अंदाजे से काम चलाने के बजाय आप अपने पिछले कुछ महीनों के खर्चों की लिस्ट तैयार करें और औसत निकालकर अपना रिटायरमेंट फंड तैयार करें.

2. महंगाई का ध्यान न रखना

महंगाई तो हम सभी पर भारी पड़ रही है. यह दिनों-दिन बढ़ती जाती है. पर रिटायरमेंट की प्लैनिंग करते वक्त हम इसे भूल जाते हैं. नतीजा यह होता है महंगाई के कारण आपका फंड कम पड़ जाता है. आज जो महंगाई है वो भविष्य में बढ़ेगी. इसे ध्यान में रखकर फंड बनाएं.

3. रिटायरमेंट फंड से पैसे निकालना

रिटायरमेंट दूर है, यह सोचकर फंड पैसे निकालन बेवकूफी है. जरूरत कोई भी हो, वो आपके भविष्य की सेविंग है, उसे खर्च न करने में ही भलाई है. बच्चों की शादी, एडमिशन आदि के लिए तो फंड से पैसे निकालना ठीक भी है, लेकिन दिक्कत तो तब होती है जब लोग लक्जरी चीजों के लिए जैसे कार खरीदना, विदेश यात्रा आदि के लिए इसका इस्तेमाल करना शुरू कर देते हैं. इसलिए रिटायरमेंट फंड को हाथ लगाने से पहले यह जरूर सोच लें कि यह पैसा उस समय के लिए है जब आपके पास कमाई का कोई साधन नहीं होगा.

4. मेडिकल फंड न रखना

रिटायरमेंट फंड में मेडिकल खर्चों के लिए अलग से कुछ व्यवस्था करनी जरूरी है क्योंकि बुढ़ापे में लोग ज्यादा बीमार पड़ते है. साथ ही अक्सर कई तरह की स्वास्थ संबंधी दिक्कतों से जूझते है. इसलिए रिटायरमेंट प्लैनिंग के वक्त ही इस बारे में सोच लेना चाहिए.

5. लोन न चुकाना

एक बात जो आपको हमेशा ध्यान रखनी चाहिए वो यह कि रिटायरमेंट से पहले ज्यादा से ज्यादा कर्ज चुका दें. क्योंकि रिटायरमेंट के बाद आपकी कमाई का जरिया खत्म हो जाता है और जिंदगी केवल उन्हीं पैसों के दम पर चलानी होती है जो आपने जमा किए हैं. इसलिए फंड में से लोन न चुकाना पड़े इस बात का ध्यान जरूर रखें.

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