आज देश ही नहीं बल्कि दुनिया में बलात्कार जैसा अपराध अपने पैर लगातार पसारते जा रहा है. दुनिया के किसी ना किसी कोने से रोज़ सैंकड़ो बलात्कार की ख़बरें सामने आती है. लेकिन हर बलात्कार पर यह कहा जाता है कि गलती जरूर लड़की की ही रही होगी. या फिर कई तुगलकी फरमान सुनने को मिलते हैं जैसे "फास्टफूड खाने से ऐसी घटनाएं बढ़ती हैं" या फिर "रात में बाहर निकलेंगी तो यही तो होगा".

सिर्फ यही नहीं ऐसी कई बातें हैं, जो हर तरफ से लड़कियों पर ही तंज कसते हुए नजर आती हैं. लोग कहते हैं "जरूर लड़की ने छोटे कपड़े पहने होंगे", या "वह जरूर लड़कों के साथ घूमती होगी". ऐसी कई बातें है जिनके दम पर आज समाज हर बलात्कार पर एक महिला को ही दोषी मानने लग गया है.

आज हम आपके लिए लेकर आए हैं समाज के इन्ही तंजो पर सीधे हमला करती हुई फोटोग्राफर याना मजरकेविच (Yana Mazurkevich) की यौन उत्पीड़न पर एक फोटो सीरीज. इसे ना केवल हर तरफ सराहा जा रहा है बल्कि साथ ही इसके असर को भी देखा जा रहा है. इस सीरीज में 8 फोटोज है, जिनमे रेप पीड़िताओं को दिखाया गया है. ये ऐसी फोटोज है जिनमे महिला रेप के लिए खुद को जिम्मेदार बताती दिखाई गई हैं. फोटोज में महिलाएं उनपर हुए रेप के लिए वही बातें कहती दिख रही हैं, जो समाज उनसे कहता है.

लेकिन क्या ये सही है. क्या लोग जो कह रहे है वो सही है….लड़की के कपडे…रात में बाहर निकलना और ऐसे ही कई ताने. क्या यही वे सब वजहें है जिनमे रेप जैसा क्राइम अपने पैर फैला रहा है. या फिर यह समाज की गन्दी मानसिकता का एक उदाहरण है. सोचियेगा जरूर…

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