जौब चाहे छोटी हो या बड़ी, चुनौतियों का सामना तो करना ही पड़ता है, क्योंकि हर औफिस का काम का तरीका अलग होता है, जिस को समझने व उस के साथ सामंजस्य बैठाने में नए कर्मचारी को काफी मेहनत व समझदारी से काम लेना पड़ता है. जरा सी चूक नौकरी के लिए खतरा बन जाती है, साथ ही कर्मचारी को आर्थिक परेशानियों में भी डाल देती है.

जौब हर व्यक्ति के लिए ऐसे अनुभव की तरह है, जिसे वह हमेशा याद रखता है. एक फ्रैशर का फर्स्ट जौब में चुनौतियों से सामना होना आम बात है, क्योंकि औफिस कल्चर से वह पहली बार मुखातिब होता है. काम के दौरान अकसर विपरीत परिस्थितियों से गुजरना पड़ता है.

आप यदि परेशानी से बचना चाहते हैं और औफिस में अपनी अलग पहचान बनाना चाहते हैं, तो आप को कुछ सुझावों पर अमल करना होगा :

  1. समय के पाबंद बनें
  2. समय पर औफिस पहुंचें. जौब
  3. में तरक्की पाने के लिए समय का
  4. पाबंद होना बहुत जरूरी है.

औफिस समय से 10 मिनट पहले पहुंचें. इस से आप हड़बड़ी से बच सकेंगे और अपनी मेज, कंप्यूटर व जरूरी फाइलें ठीक से देख कर अपना काम सुचारु ढंग से कर सकेंगे. आप का समय पर औफिस पहुंचना आप की तरक्की के द्वार खोलेगा.

सकारात्मक दृष्टिकोण अपनाएं

सकारात्मक सोच के साथ जौब की शुरुआत करें. यह आप को ऊर्जावान के साथसाथ प्रगतिशील भी बनाती है. याद रखें, कोई भी कार्य संपन्न करने के लिए व्यक्ति को सकारात्मक दृष्टिकोण रखना चाहिए. सकारात्मक सोच हमेशा व्यक्ति को उत्साहित करती है और टीमभावना को बढ़ावा भी देती है.

मालिनी श्रीवास्तव एक पब्लिकेशन हाउस में मैनेजर के पद पर कार्यरत हैं. मालिनी को उन की व्यवहारकुशलता व सकारात्मक सोच ने समय से पहले पदोन्नति दिलाई. वे किसी भी कठिन से कठिन काम को अपनी सकारात्मक सोच से आसानी से कर लेती हैं.

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