अकसर घरों में माएं-दादियां करेले के गुणों का बखान करती मिलती हैं. कई बुजुर्गों को आपने करेले का जूस मजे से पीते देखा होगा मगर करेले का नाम सुनते ही युवाओं के मुंह का जायका बिगड़ जाता है. बच्चे तो उसके नाम से ही नाक-भौं चढ़ा लेते हैं. करेले की कड़ुवाहट झेलना सबके बस की बात नहीं है. करेला भले ही एक कड़ुवी सब्जी हो, लेकिन इसमें कई गुण होते हैं. यह खून तो साफ करता ही है, साथ ही डायबीटीज के रोगियों के लिए यह बेहद फायदेमंद है. करेला डायबीटीज में अमृत की तरह काम करता है. इससे खून में शुगर लेवल कंट्रोल में रहता है. दमा और पेट के रोगियों के लिए भी यह लाभदायक है. इसमें फौस्फोरस पर्याप्त मात्रा में होता है जो कफ की शिकायत को दूर करता है.

करेले का इस्तेमाल एक नेचरल स्टेरौयड के रूप में किया जाता है क्योंकि इसमें केरेटिन नामक रसायन होता है. जो खून में शुगर का स्तर नियंत्रित रखता है. करेले में मौजूद ओलिओनिक ऐसिड ग्लूकोसाइड, शुगर को खून में न घुलने देने की क्षमता रखता है.

करेला जितना शुगर के स्तर को संतुलित करता है, शरीर को उतने ही पोषक तत्व मिलते हैं. इसके अलावा करेले में तांबा, विटमिन बी, अनसैचुरेटेड फैटी ऐसिड जैसे तत्व हैं. इनसे खून साफ रहता है और किडनी व लिवर भी स्वस्थ रहता है.

करेला खाने के फायदे

- कफ के मरीजों के लिए करेला बहुत फायदेमंद होता है.

- दमा होने पर बिना मसाले की सब्जी लाभदायक होती है.

- पेट में गैस की समस्या या अपच होने पर करेला राहत देता है.

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