2008 में अब्बास मस्तान के निर्देशन में पहली बार सफल एक्शन फिल्म ‘रेस’ बनी थी. उसके बाद ‘रेस 2’ आयी. अब ‘रेस 3’ आयी है, जिसमें अभिनय करने के साथ ही बतौर निर्माता सलमान भी जुडे़ हैं. मगर ‘‘रेस 3’’, ‘रेस’ सीरीज की सर्वाधिक कमजोर फिल्म है.
फिल्म ‘‘रेस 3’’ की कहानी के केंद्र में हैं मशहूर हथियार विक्रेता शमशेर सिंह (अनिल कपूर). फिल्म शुरू होने पर एक सीन से यह बात उभरकर आती है कि शमशेर सिंह इतने तेज तर्रार व चलाक हैं कि उन्हे कोई मात नहीं दे सकता. वह तो इंटरपोल के अफसर खन्ना (स्व.नरेंद्र झा) से भी सीधे बात करते रहते हैं.
बहरहाल, कहानी आगे बढ़ती है तो इंटेलीजेंस ब्यूरो को खबर मिलती है कि भारत में इलाहाबाद के पास हंडिया जिले के निवासी अवैध शस्त्र के कारोबार में पकडे़ जाने से बचने के लिए थाईलैंड के अलसाफिया में आकर बस गए हैं. शमशेर सिंह का एक सौतेला बेटा सिकंदर सिंह (सलमान खान) के अलावा बेटा सूरज सिंह ( साकिब सलीम) और बेटी संजना सिंह (डेजी शाह) है. सिकंदर सिंह के लिए काम करने वाला शूटर है यश(बौबी देओल).
जबकि राणा (फ्रीडा दारूवाला), शमशेर सिंह का सबसे बड़ा दुश्मन है. इंटेलीजेंस ब्यूरो की तरफ से जेसिका (जैकलीन फर्नांडिज) को शमशेर सिंह के परिवार के बारे में सच जानने व सबूत इकट्ठा करने की जिम्मेदारी दी गयी है. इधर जब सूरज व संजना 25 वर्ष के होते हैं, तो इन्हे पता चलता है कि इनकी मां ने वसीयत में जायदाद का पचास प्रतिशत सिकंदर को दिया है. बाकी के पचास प्रतिशत में से पचीस पचीस प्रतिशत के हकदार सूरज व संजना हैं. इससे सूरज व संजना नाराज होते हैं और सिकंदर को नेस्तानाबूद करने के लिए सूरज व संजना मिलकर जेसिका की मदद लेते हैं.
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