रागिनी ने अपने पति सोमेश के हाथ में एक पैकेट सा देखा तो पूछ बैठी, ‘‘कोरियर वाला क्या दे कर गया है?’’

सोमेश थोड़ा सा मुसकराते हुए बोेले, ‘‘सुंदरम की शादी का कार्ड है.’’

रागिनी ने झट से लगभग लपकते हुए कार्ड ले लिया सोमेश के हाथों से और देखने लगी. कार्ड के ऊपर लिखा था, ‘सुंदरम वैड्स आंचल.’ रागिनी खिल सी पड़ी और बोली, ‘‘अरे, आंचल से शादी हो रही है उस की, चलो प्यार पा ही लिया उस ने अपना आखिरकार.’’

तभी फोन की घंटी घनघना उठी. दूसरी ओर सुंदरम बोल रहा था, ‘‘हे रागिनी, तुम शादी में जरूर आना. आई एम वेटिंग फौर यू ऐंड योर फैमिली.’’

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रागिनी हंस पड़ी और वादा किया कि वे सभी शादी में जरूर आएंगे.

सोमेश हंसते हुए बोले, ‘‘हां भई, अब तुम्हारा मित्र है तो जाना ही पड़ेगा.’’

रागिनी 53 साल की है और सुंदरम 28 वर्षीय. 53 वर्षीया रागिनी की 28 वर्षीय सुंदरम से मित्रता कैसे हो सकती है. लेकिन यह जो फेसबुक है, यहां पर यह संभव हो सकता है. फेसबुक कैसे अनजान लोगों को मिला कर उन को करीब ले आता है जैसे उन की बरसों से पहचान हो या कोई पुराने बिछड़े हुए मिले हों. लेकिन रागिनी तो बहुत सोचसमझ कर मित्रता करने वालों में से थी. सुंदरम से मित्रता कैसे हुई यह भी कम रोचक नहीं था. पति अपने बिजनैस में व्यस्त, छोटा बेटा अपनी पढ़ाई के सिलसिले में दूसरे शहर में और बड़ी बेटी भी पढ़ाई के बाद अपना बुटीक सैट करने में व्यस्त हो गई तो रागिनी अपना समय फेसबुक पर बिताने में व्यस्त हो गई.

एक दिन ऐसे ही फ्रैंड्स सर्च कर रही थी तो वह देख कर हैरान रह गई कि बहुत ही भद्दे और अश्लील नामों व चित्रों वाले लोग भी हैं जिन्होंने अपनी आईडी बना रखी है. फिर उस ने 1-2 नाम क्लिक किए और उन का प्रोफाइल्स खोल कर देखा तो सन्न रह गई. बहुत ही गंदे अंतरंग दृश्यों व घटिया वीडियो थे वहां पर. रागिनी का तो दिमाग ही घूम गया कि यह क्या है. एक बार तो उस ने सोचा कि इन को फ्रैंड्स रिक्वैस्ट भेजी जाए पर अगले ही पल वह घबरा गई कि यह तो बहुत गलत होगा यदि उन में से कोई उसे ही ऐसे फोटो भेज देगा तो उस की इज्जत क्या रह जाएगी.

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वह बहुत बेचैन रही कई दिन तक और सोचती रही कि फेसबुक की कोई काली दुनिया भी है, यह तो उस ने सोचा ही नहीं. उसे तो अभी तक सब अच्छा ही दिखा था, फिर एक दिन जब घर में कोई नहीं था, उस ने एक नकली नाम और शहर से अपनी कम उम्र लिखते हुए आईडी बना डाली और अपने जमाने की एक ग्लैमरस हीरोइन की फोटो भी लगा दी. फिर ऐसे टेढे़मेढ़े नाम वालों को रिक्वैस्ट भी भेज दी और सभी रागिनी के मित्र भी बन गए.

ऐसे ही एक अश्लील नाम वाले ने रागिनी से चैट शुरू की, ‘हे सैक्सी…’ और रागिनी के दिल की धड़कन बढ़ गई, ‘हा…इस उम्र में ये शब्द, उफ्फ.’ अगले ही पल वह धड़ाम से नीचे गिरी.

तभी फेसबुक पर उभरा, ‘‘हे आशिका डार्लिंग, हाउ आर यू?’’

रागिनी को धीरे से हंसी आ गई. ये शब्द 53 साल की रागिनी के लिए नहीं थे बल्कि ये तो 35 वर्षीया आशिका के लिए थे. अब थोड़ी सी संयत हुई और लिखा, ‘‘मुझे बहुत जोर से हंसी आ रही है. तुम्हारा यह नाम किस ने रखा है, तुम्हारे पापा ने या मम्मी ने?’’

दूसरी तरफ से लिखा हुआ आया, ‘‘यह उस का असली नाम नहीं, उस का नाम तो राजेश है.’’

‘‘तो फिर ऐसा नाम रखने का मतलब?’’ रागिनी ने फिर से टोका और कई बार उस की मां के बारे में भी कुछ बातें कीं तो शायद राजेश नाराज हो गया और बोला, ‘‘देखो आशिका, तुम्हें अगर मुझ से बात करने में कोई रुचि नहीं है तो मत करो पर बारबार मेरी मां का नाम लेने की जरूरत नहीं है. उस ने मुझे और मेरी बहन को बहुत मुश्किल से पाला है. मेरे पिता तो बहुत पहले इस दुनिया से जा चुके हैं.’’

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यह मालूम होने पर रागिनी को बहुत दुख पहुंचा और वह उसे डांटने लगी, ‘‘अच्छा, तो तुम अपनी मां की तपस्या का यह फल चुका रहे हो, बहुत अच्छे, शाबाश बेटे..’’ और भी बहुत कुछ लिख दिया उस ने.

बेटा सुनने के बाद शायद उस को बहुत शर्म महसूस हुई होगी और बोला, ‘‘प्लीज मैम, अब आगे कुछ मत बोलिए,’’ और राजेश ने उस को आउट कर दिया, शायद ब्लौक कर दिया, क्योंकि उस के बाद वह उस को नजर नहीं आया.

यह सोच कर रागिनी को अच्छा लगा कि उस की डांट का राजेश पर असर हुआ पर एक दिन उस ने अपनी असली आईडी से उसे देखा तो वह वहीं मौजूद था. रागिनी उस रात देर तक सो नहीं पाई और सोचती रही कि फेसबुक का नशा चढ़ जाता है पर ऐसा भी होता है. यह तो उस ने सोचा ही नहीं. फिर वह कांप उठी यह सोच कर कि क्या मालूम उस के बेटे ने भी ऐसी कोई प्रोफाइल बना रखी हो. और भी न जाने कितने ही बुरे खयालों में डूबतीउतराती रही वह.

सुबह बेटी की आवाज से ही आंख खुली, वह पुकार रही थी, ‘‘मम्मा, चाय… आप को भी फेसबुक की लत पूरी तरह चपेट में ले रही है. अगली बार से आप भी पापा के साथ जाया करो.’’

‘‘तुम्हारी शादी हो जाए फिर निश्ंिचत हो कर जाया करूंगी, और मुझे इस की कोई लत नहीं है. वह तो रात को नींद ही नहीं आई इसलिए उठ नहीं पाई,’’ रागिनी बेटी को आखिर क्या बताती.

दिन में वह काम तो करती रही पर मन बेचैन ही रहा कि हमारी नई पीढ़ी कहां जा रही है और पता ही नहीं चलता, कौन यहां लड़का है कौन लड़की. और क्या पता असली है या नकली? फिर उस ने सोचा मुझे क्या है, सभी की अपनीअपनी जिंदगी है, सब का अपना ढंग है. और तय किया कि वह उस आईडी को बंद कर देगी. रात को फेसबुक को खोलते ही उस का दिमाग चकरा गया. अरे, इतनी सारी फ्रैंडरिक्वेस्ट्स और घटिया मैसेज भरे पड़े थे. अब तो रागिनी को बहुत शर्मिंदगी महसूस हुई कि क्या वह ऐसी घटिया है.

तभी उस की सोच को विराम लग गया क्योंकि मैसेज बौक्स में एक मैसेज उछल कर आया, ‘‘हे आशिका, हाउ आर यू डियर?’’

रागिनी का मन बहुत वितृष्णा से भरा हुआ था और लिख दिया, ‘‘नमस्ते.’’

‘‘हाहा, नमस्ते…आई ऐम हैंडसम, मीन, माय नेम इज हैंडसम. डू यू लाइक टू चैट मी. मुझे हिंदी थोड़ाथोड़ा ही आता है.’’

‘‘ओके, यस. बट, आर यू गर्ल और बौय?’’ रागिनी ने थोड़ा अनमने ढंग से बात की.

‘‘आय एम 28…बौय,’’ दूसरी तरफ से जवाब था, ‘‘और तुम?’’

अब तक रागिनी ने भी सब झूठ ही कहा क्योंकि यहां पर जो था सब झूठ की बुनियाद पर ही था. फिर बातें करते हुए रागिनी ने उस से उस का असली नाम पूछा और कहा कि तुम ये सब क्यों करते हो? तो उस ने अपना नाम सुंदरम बताया और कहा कि मेरी असली आई डी कोई और ही है. ये तो सब मुझे कुछ देर की राहत दिलाता है. उस ने रागिनी से भी पूछा कि वह तो शादीशुदा है फिर वह क्यों यहां है?

तो रागिनी से भी रहा नहीं गया और कहा, ‘‘मैं यहां देखने आई हूं, फेसबुक की काली दुनिया का रहस्य क्या है, लोग ऐसे क्यों कर रहे हैं?’’

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वह हंस पड़ा और बोला, ‘‘वह एक लड़की से प्यार करता है और वह उत्तर भारतीय है. उस ने तो अपने मांबाप को मना लिया है पर लड़की वाले नहीं मानते. इस वजह से वह लड़की तैयार नहीं है शादी के लिए. जब वह उसे बहुत मिस करता है तो वह यहां फेसबुक पर चला आता है. अभी उस की नौकरी भी नहीं. 2 महीने बाद ही जौइन करेगा. तब तक उसे यहां आना बहुत अच्छा लगता है.’’ रागिनी को अब लगने लगा था, वह ये सब क्या कर रही है, उसे क्या गरज है किसी को सुधारने की. मन ही मन वह बहुत अनमनी सी रहने लगी. क्या कोई भी नहीं है जो इस की शिकायत करे. इन फोटो और अश्लील वीडियो पर रोक लगाने वाला कोई नहीं है. हमारी नई पीढ़ी कहां जा रही है, जिस को देखो इंटरनैट पर, चाहे मोबाइल हो या कंप्यूटर या कोई अन्य साधन, हर समय व्यस्त नजर आता है. उसे लगा सारी दुनिया ही पागल हुई जा रही है.

जब सोमेश लौटे तो उस ने सबकुछ बताया तो वे भी नाराज से हुए और कहा, ‘‘तुम से भी रहा नहीं जाता. फिर से शुरू हो गईं समाज को सुधारने के लिए. तुम्हारे करने से क्या होगा?’’ पर रागिनी को सुंदरम की बातें बहुत प्रभावित करती थीं और उस को समझाने की कोशिश की कि वह कुछ और बातों व चीजों में ध्यान लगा सकता है.

ऐसे ही एक दिन बातें करते हुए उस ने सुंदरम को अपने बारे में सच बता दिया और कहा, ‘‘सुंदरम, मैं यह गलत और नकली आईडी बंद करने जा रही हूं और तुम भी यह बंद कर दो.’’ सुंदरम ने अपनी असली आईडी का लिंक देते हुए उस को बाय कहा कि अब असली पहचान के साथ ही मुलाकात होगी. फिर रागिनी के साथसाथ सोमेश ने भी राहत की सांस ली क्योंकि बहुत दिनों बाद रागिनी के चेहरे पर निश्चिंतता के भाव थे और वह मुसकरा भी रही थी.

एक दिन सुंदरम ने कहा, ‘‘मेरे घर वाले मेरे लिए लड़की देख रहे हैं और मैं तो तुम जैसी लड़की से शादी करना चाहता हूं पर तुम्हारी उम्र की से नहीं.’’

इस पर रागिनी को बहुत हंसी आई और बहुत लाड़ से कहा, ‘‘देखो सुंदरम, तुम मुझे मेरे बेटे जैसे ही लगते हो.’’

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वह भी सुन कर बहुत खुश हुआ पर बोला कि वह उसे रागिनी ही बोलेगा क्योंकि रागिनी उस की सब से अच्छी मित्र थी और उसी के कारण वह एक गंदी दुनिया व मानसिकता से बाहर निकला था.

फिर एक दिन उस ने कहा कि उस की शादी की बात आंचल से ही हो रही है और शायद बात बन जाए. उस का खड़ूस बाप मान ही जाए क्या मालूम.

और आज शादी का कार्ड सामने था. 15 दिन बाद शादी थी पर तैयारी तो अभी से शुरू करनी थी सो रागिनी बहुत उत्साह से जुट गई.

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