गाजियाबाद के थाना मुरादनगर पुलिस ने अवैध रूप से संपत्तियों पर कब्जा कराने वाले गैंग का खुलासा किया है. गैंग के मास्टरमाइंड सचिन ने एक बुजुर्ग महिला डाक्टर सुधा सिंह के घर प्रीति नाम की एक लड़की घरेलू कामकाज के लिए रखवाई थी. सचिन ने पहले डा. सुधा सिंह से जानपहचान बढ़ाई और उस के बाद प्रीति को उन के घर काम के लिए रखवा दिया.बाद में उस ने घर के लोगों को बताए बिना उस कामवाली की शादी बुजुर्ग महिला के मंदबुद्धि बेटे शिवम से करवा दी.

बुजुर्ग महिला की मौत के बाद कामवाली ने घर की बहू और मालकिन होने का दावा करते हुए जब शादी के सुबूत दिए तो मृतक महिला की बेटी आकांक्षा सिंह सकते में आ गई. उस का भाई शिवम तो मंदबुद्धि था, परिवार में कोई इस शादी के बारे में जानता तक नहीं था. बुजुर्ग महिला के पास करोड़ों की संपत्ति थी जिस पर मेड अपना हक जाता रही थी. उस को उस घर में मेड के तौर पर रखने वालों की तरफ से मृतक महिला की बेटी को धमकियां मिलने लगीं.

जब मामला पहुंचा पुलिस के पास

ऐसे में जब मामला पुलिस के पास पहुंचा और जांच पड़ताल हुई तो पता चला कि अवैध रूप से करोड़ों की संपत्ति हथियाने के लिए जिस मेड की शादी मंदबुद्धि लड़के से करवाई गई उस के पीछे पूरा गैंग काम कर रहा था.जांच में पुलिस को पता चला कि मेड का काम करने वाली आरोपी महिला प्रीति मूल रूप से सोनीपत की रहने वाली है, जिस ने पहले भी 3 फर्जी शादियां की हुई हैं. आपराधिक प्रवृत्ति की यह महिला गैंग के साथ लंबे समय से जुड़ी है. सचिन और प्रीति को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया है.

महानगरों में ही नहीं बल्कि अब छोटे शहरों में भी घरों में मेड रखने का चलन है.पहले कामवाली औरतें घर के आसपास के इलाके से ही होती थीं और लोगों को उन के बारे में पूरी जानकारी होती थी. मगर अब बड़े शहरों में कामवाली बाइयां प्लैसमेंट एजेंसियों के माध्यम से भी रखवाई जा रही हैं.

प्लैसमेंट एजेंसियां एकमुश्त ₹40-50 हजार ले कर 3-5 सालों के लिए घरेलू कामकाज के लिए लड़कियों को रखवाते हैं. अधिकांश लडकियां झारखंड, छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्रों से होती हैं. एजेंसियां दावा करती हैं कि इन लड़कियों का पूरा पुलिस वैरीफिकेशन करवाया गया है, मगर यह सच नहीं होता.

प्लैसमेंट ऐजेंसी की मिलीभगत

कीर्ति नगर में रहने वाली पायल आहूजा की मां का ऐक्सीडैंट होने के कारण पायल को घर के काम के लिए मेड रखनी पड़ी, जो उन्होंने प्लैसमेंट एजेंसी के जरिए हायर की. पायल वर्किंग थी, इसलिए मां की देखभाल और घर के काम के लिए उन को फुल टाइम नौकर की जरूरत थी. उन्होंने एक प्लैसमेंट एजेंसी से बात की और अपनी जरूरत बताई.

प्लैसमेंट एजेंसी ने 5 साल के लिए एक लड़की उन के वहां भेज दी. इस के लिए एजेंसी ने पायल से ₹25 हजार लिए. इस के अलावा हर महीने ₹10 हजार मेड को भी देने थे. उस का खानापीना, कपड़े, दवाई, फोन रिचार्ज इत्यादि का जिम्मा मालिक का था. उस मेड ने पायल के घर पर 8 महीने काम किया.जब उस के हाथ अच्छा पैसा जमा हो गया तो एक दिन वह पायल के औफिस जाने के बाद घर की बहुमूल्य चीजें और पायल के अच्छे सूट व कौस्मेटिक्स 3 बैगों में भर कर रफूचक्कर हो गई. पायल ने एजेंसी को फोन किया, पुलिस में कंप्लेंट दो मगर आज तक झारखंड की उस लड़की का कुछ पता नहीं चला.बाद में एजेंसी वाले ने पायल पर ही आरोप लगाने शुरू कर दिए कि उस ने लड़की को गायब करवा दिया.

कहीं का नहीं छोड़ा

शाइनी आहूजा का किस्सा लोग भूल नहीं सकते.मेड के चक्कर में फिल्मी जगत के इस उभरते सितारे ने अपना पूरा भविष्य ही खराब कर लिया. पत्नी के बाहर जाने के बाद मेड के साथ उस के शारीरिक संबंधों ने अंततः शाइनी को कहीं का नहीं छोड़ा.

कामवाली बाई से जुड़ी ऐसी अनेक कहानियां समाज में हैं जिन के चलते परिवार तबाह हो रहे हैं। ग्रामीण पृष्ठभूमि से महानगरों में काम के लिए आने वाली जवान लड़कियां यहां की चकाचौंध देख कर मुग्ध हो जाती हैं. कुछ पैसा हाथ में आते ही वह शहर के रंग में जल्दी रंग जाती हैं.

भड़कीले कपड़े, नकली ज्वैलरी, मेकअप की परतें चढ़ा कर जब ऐसी लड़कियां मालकिन की अनुपस्थिति में घर के काम करती हैं तो साहब की नजरों में जल्दी चढ़ती हैं.घरवाली अगर वर्किंग है और साहब अगर घर में रहते हैं तो कामवाली को घरवाली की जगह लेते देर नहीं लगती. कुछ ऐसे संबंध छिपे तौर चलते रहते हैं तो कुछ जाहिर हो जाते हैं, जिस के चलते परिवार में झगड़े होते हैं, तलाक होते हैं.

रहें सावधान

जब किसी औरत को काम पर रखें तो उस से उस के आधार कार्ड की एक प्रति जरूर मांग लें.भले ही वह किसी प्लैसमेंट एजेंसी के माध्यम से आई हो अथवा आप ने खुद रखी हो. घर में किसी भी महिला या नौकर को काम पर रखने से पहले उन की पूरी तरह पड़ताल जरूर करें.उन के पते और पहचान के कागजात में आधार कार्ड जरूर देखें और इन कागजात की एक फोटो कौपी अपने रिकौर्ड में जरूर रखें.

जब तक आप उन के व्यवहार से सुनिश्चित न हो जाएं, तब तक अपनी कीमती चीजों की जिम्मेदारी उस को न सौंपे. जैसे पैसे, जेवर, कपड़े और बच्चे की जिम्मेदारी. जिस पर आप को विश्वास न हो उसे आप काम पर न रखें क्योंकि आप उस पर विश्वास नहीं कर पाएंगे, मन में संदेह बना रहेगा। न आप सुखी रहेंगे और न दुखी रहेंगे, बस तनाव में बने रहेंगे.

यह सुनिश्चित करें कि लड़की अधिक समय तक आप की गैरहाजिरी में आप के पति के पास न रहे. अगर आप 8 घंटे औफिस में हैं तो बीचबीच में कामवाली से अचानक वीडियो कौल पर बात करें. चपल, चंचल और तीखे नैननक्श वाली लड़कियों को काम पर रखने से बचें.

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