बिहार में अचानक से बड़ी संख्या में सिक्का गिरोह पैदा हो गये हैं. वे सुनियोजित तरीके से बैंकों में सिक्का जमा करा रहे हैं. खबरें हैं कि दर्जनों लोग बिहार शहर के अलग-अलग बैंकों में अपने खाते में औसतन दो हजार रुपये के सिक्के जमा करने के लिए पहुंच रहे हैं. इसके पीछे का कारण मुनाफाखोरी बताया जा रहा है.
नोट एक्सचेंज में मुनाफाखोरी का खेल : जानकारों के मुताबिक नोट के बदले पैसा बदलने वालों की संख्या भी अच्छी खासी बढ़ गयी है. ये दलाल दुकानदारों को 100 रुपये के सिक्के के बदले 80-90 रुपये दे रहे हैं. दुकानदार अपने दुकान से सिक्के हटाने के चक्कर में ऐसा कर रहे हैं. वे दुकानदारों से सिक्के जमा कर हर दिन अपने बैंक खाते में जमा कर रहे हैं.
मुनाफाखोरी करने वाले लोगों अथवा दलालों ने अपने अपने परिवार के सदस्यों के नाम पर प्रमुख बैंकों में खाता खुलवा रखा है और इन्ही खातों का इस्तेमाल वे मुनाफाखोरी के लिए कर रहे हैं. खाता होने के कारण बैंक प्रबंधक सिक्के लेने से मना नहीं कर पा रहे हैं. बैंक प्रबंधकों की मानें, तो जिस तरह से पिछले कुछ दिनों से बैंक में सिक्के जमा करने वाले लोगों की संख्या अप्रत्याशित तौर पर बढ़ रही है, वह चिंताजनक है.
सिक्के जमा करने बड़ी संख्या में चैन बनाकर पहुंच रहे हैं लोग : स्टेट बैंक, सेंट्रल बैंक, पंजाब नेशनल बैंक, यूनियन बैंक, कौर्पोरेशन बैंक, केनरा बैंक, बैंक औफ बड़ौदा आदि बैंकों में हर दिन बड़ी संख्या में लोग चेन बना कर अपने-अपने खाते में रुपये के साथ एक हजार-दो हजार रुपये के सिक्के लेकर पहुंच रहे हैं.
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