भारतीय फैन्स बेशक फाइनल में टीम इंडिया के एकतरफा जीत की उम्मीद कर रहे हैं, लेकिन टीम इंडिया या जानकार पाकिस्तान टीम को हल्का नहीं आंकना चाहते. कल यानी की 18 जून, 2017 को भारत और पाकिस्तान की टीमें इंग्लैंड में चैंपियंस ट्रोफी का खिताबी मुकाबला खेलेंगी.
वैसे तो भारत पाकिस्तान को लीग मैच में 124 रन से हरा चुका है, लेकिन बावजूद इसके जानकारों की मानें तो ऐसी कई वजहें हैं जिससे पाकिस्तान टीम में एक अलग मजबूती नजर आ रही है. ऐसे में फाइनल यकीनन लीग मुकाबले से ज्यादा रोमांचक होगा.
पाकिस्तान के पास उम्दा गेंदबाज
पाकिस्तान की गेंदबाजी अब अपने रंग में नजर आ रही है. पाकिस्तान के युवा तेज गेंदबाज हसन अली दो मैन ऑफ द मैच का खिताब जीत चुके हैं.
इसके अदावा जुनैद खान और मोहम्मद आमिर भी हैं, जो पाकिस्तानी तेज गेंदबाजी आक्रमण को धार देते हैं. अली चार मैचों में 10 विकेट ले चुके हैं. उनके पास रफ्तार और स्विंग का मेल है. साउथ अफ्रीका, श्रीलंका और इंग्लैंड के खिलाफ उन्होंने तीन-तीन विकेट लिए हैं. उनका इकॉनमी भी 3.64 रहा है.
भारत के खिलाफ हालांकि हसन अलनी महंगे रहे थे लेकिन उसके बाद वह काफी अच्छी गेंदबाजी कर रहे हैं.
स्पिनर्स आए रंग में
भारत ने पाकिस्तानी स्पिन गेंदबाजों को सेट नहीं होने दिया. पर भारत के खिलाफ मैच के बाद से पाकिस्तानी स्पिनर्स ने विपक्षी टीमों पर लगाम लगाने में कामयाब हुए हैं.
भारत के खिलाफ इमाद वसीम ने शानदार गेंदबाजी की थी. पर इसके बाद से उन्होंने साउथ अफ्रीका के खिलाफ दो विकेट लिए. इसके अलावा शादाब खान भी बीच के ओवरों में विपक्षी टीम पर लगाम लगाने में कामयाब रहे हैं.
टीम ने की शानदार वापसी
लीग के पहले मैच में भारत ने पाकिस्तान को डकवर्थ-लुइस नियमों के साथ 124 रनों से हरा दिया और पाक टीम का प्रदर्शन बेहद फीका नजर आया. लेकिन उसके बाद इस टीम ने दक्षिण अफ्रीका, श्रीलंका और इंग्लैंड जैसी ताकतवर टीमों को शिकस्त दी है जिससे उसके हौसले बुलंद हो गए हैं. कप्तान विराट कोहली से लेकर सुनील गावस्कर जैसे दिग्गज ऐसा मानने में कोई इंकार नहीं करते.
सुधरी बल्लेबाजी
भारत के खिलाफ बाएं हाथ के इस सलामी बल्लेबाज को खेलने का मौका नहीं मिला था. इसके बाद पाकिस्तान ने अपनी टीम में इस बल्लेबाज को शामिल किया.
3 मैचों में इस बल्लेबाज ने 117.94 के स्ट्राइक रेट से 138 रन बनाए. उनके आने के बाद पाकिस्तानी बैटिंग मजबूत नजर आने लगी है. वह अपनी टीम को आक्रामक शुरुआत देने में कामयाब रहे हैं.
श्रीलंका और इंग्लैंड के खिलाफ हम यह देख चुके हैं. श्रीलंका के खिलाफ मोहम्मद आमिर ने 9वें नंबर पर बल्लेबाजी करते हुए कप्तान सरफराज अहमद के साथ मिलकर 75 रनों की साझेदारी कर पाकिस्तानी टीम को जीत दिलाई थी.
आमिर की बल्लेबाजी में धैर्य नजर आ रहा था. इसके अलावा आउट ऑफ फॉर्म दिख रहे मोहम्मद हफीज और शोएब मलिक जैसे अनुभवी बल्लेबाज कभी भी फॉर्म में लौट सकते हैं.
फाइनल में पाक का बेहतर रिकॉर्ड
आईसीसी या वर्ल्ड कप टूर्नामेंट में भारत का रिकॉर्ड पाकिस्तान से हमेशा बेहतर रहा है. वर्ल्डकप में भारत, पाकिस्तान से कभी नहीं हारा है. लेकिन अगर सिर्फ फाइनल मुकाबलों की बात करें तो पाक टीम बाजी मारती नजर आती है.
1985 से लेकर अबतक दोनों टीमों के बीच 10 फाइनल मैच खेले गए. इनमें पाकिस्तान को 7 जबकि भारत को 3 मैचों में जीत मिली.
ग्रुप मैच की हार का बदला चुकाने का मौका
इन सबके अलावा पाकिस्तान की टीम पिछले कुछ मुकाबलों से भारत से हार रही है. दोनों टीमों द्वारा खेले गए अंतिम 5 वनडे मैचों की बात करें, तो पाकिस्तान को 4 बार हार मिली है. वह इस बार इस बुरे रिकॉर्ड को हर हाल में पलटना चाहेगा.
इस टूर्नामेंट के शुरुआती मुकाबले में हार के बाद टीम की काफी किरकिरी हुई. यह टीम इस मैच में इन सब शिकायतों से पार पाना चाहेगी. इसके लिए पाकिस्तान की टीम खुद को एकजुट कर रही है.