बौलीवुड में बहुत तेजी से उतर चढ़ाव होते रहते हैं. इस उतार चढ़ाव में यदि इंसान जरा सा भी चूक जाए तो उसे जीवन भर पछताना पड़ता है. शायद इसी उधेड़बुन में सनी देओल की हालत खराब है. सनी देओल पिछले पांच सालों से अपने बेटे करण देओल के फिल्मी करियर की शुरूआत कराने के लिए प्रयासरत हैं. अब तक सनी देओल की जिद रही है कि वह खुद ही अपने बेटे की पहली फिल्म का निर्माण व निर्देशन करेंगे. इसी के चलते उन्होने अपने कई दोस्त निर्माताओं के इस प्रस्ताव को ठुकरा दिया कि वे उनके बेटे करण देओल को लांच करें. पर सनी देओल की अपनी होम प्रोडक्शन कंपनी ‘‘विजेता फिल्म्स’’ की लगभग सभी फिल्मों के लगातार असफल होने की वजह से बात बन नहीं रही थी.

सनी देओल ने बेटे के करियर को संवारने के मुद्दे पर हार नहीं मानी और फिल्म ‘‘पल पल दिल के पास’’ बनाने की घोषणा की है. इस फिल्म में करण के सामने हीरोईन चुनने के लिए सनी देओल ने छह माह से ज्यादा का समय लगाकर देश भर में 200 लड़कियों का ऑडीशन लेकर 48 लड़कियों का चयन कर मुंबई बुलाया. मुंबई में इन 48 लड़कियो के लुक टेस्ट वगैरह लेने के बाद शिमला की 18 वर्षीय साहेर बम्बा को चुना. सूत्रों का दावा है कि ‘पल पल दिल के पास’ की कुछ दिन मनाली में शूटिंग भी हुई, पर फिर ये मामला कहां गड़बड़ा गया, पता ही नहीं चला.

वहीं दूसरी तरफ सनी देओल ने ‘विजेता फिल्मस’ के ही बैनर तले मराठी भाषा की सुपर हिट फिल्म ‘‘पोस्टर बॉय’’ का हिंदी में रीमेक शुरू किया, जिसमें सनी देओल, बॉबी देओल और धर्मेंद्र ने भी अभिनय किया है, मगर यह फिल्म शूटिंग पूरी होने के बाद रूक गयी है. इसकी वजह भी अब तक किसी को नहीं पता.

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