मौजूदा समय में भले ही बाजार में शेयर, म्‍यूचुअल फंड, गवर्नमेंट बॉण्‍ड, गोल्‍ड या रियल एस्‍टेट जैसे इंवेस्‍टमेंट इंस्‍ट्रूमेंट्स मौजूद हों. लेकिन फिर भी सबसे सुरक्षित निवेश विकल्‍प के रूप में फिक्‍स्‍ड डिपॉजिट या एफडी को अभी भी सबसे बेहतर माना जाता है.

यहां निवेश पर रिटर्न भले ही शेयर बाजार या म्‍यूचुअल फंड के मुकाबले कम हो, लेकिन आपको निश्चित रकम हासिल होने की गारंटी मिलती है. इसलिए एफडी सबसे सुरक्षित विकल्‍प भी माना जाता है. वित्‍तीय सलाहकार भी अपनी कुल बचत का एक हिस्‍सा एफडी में निवेश की सलाह देते हैं. लेकिन आज की युवा पीढ़ी के बीच एफडी को लेकर कई भ्रांतियां भी हैं, जिसके चलते वे इसमें निवेश से बचते हैं. आज हम आपको इन्‍हीं उलझनों को सुलझाते हुए एफडी से जुड़ी खास बातें बताने जा रहे है.

केवल बैंक एफडी ऑफर करते हैं ?

लोगों में एफडी को लेकर सबसे बड़ी भ्रांति यह है कि सिर्फ नेशनलाइज्ड और प्राइवेट बैंक या फिर नॉन बैंकिंग फाइनेंशियल कंपनियां ही आम जनता से एफडी लेने के लिए अधिकृत हैं. लेकिन ऐसा नहीं है, आपको यह जानकर हैरानी होगी कि आप कंपनियों की ओर से जारी होने वाली कॉरपोरेट एफडी ले सकते हैं. यहां डिपॉजिट करने पर आपको ज्यादा ब्याज मिलता है. हालांकि यहां निवेश बैंक जितना सुरक्षित नहीं होता. ऐसे में जब भी आप सुरक्षा और रिटर्न के बीच एक संतुलन बनाना चाहते हैं उस वक्त बैंक डिपॉजिट सबसे उचित विकल्प है.

एफडी के ब्याज पर लगता है टैक्स?

यह बात भी लोगों को परेशान करती है कि एफडी की ब्याज दर पूर्ण रूप से कर योग्य होती है. यह आपकी कुल आय में इनकम फ्रॉम अदर सोर्स के अंतर्गत आती है. लेकिन ऐसा नहीं है. एफडी ब्याज कैल्कुलेटर से हमें यह पता चलता है कि किसी विशेष स्कीम पर आप कितना ब्याज कमा सकते हैं.

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