दक्षिण की सुपर स्टार काजल अग्रवाल की तीसरी हिंदी फिल्म ‘‘दो लफ्जों की प्रेम कहानी’’ इसी शुक्रवार को रिलीज हो रही है. इस फिल्म में काजल अग्रवाल ने एक नेत्रहीन लड़की जेनी का किरदार निभाया है, जिसे एक पूर्व बाक्सर से प्यार है. इससे पहले भी वह कई फिल्मों में रोमांटिक किरदार निभा चुकी हैं. मगर काजल अग्रवाल का मानना है कि निजी जिंदगी में फिल्मों जैसा रोमांटिक प्यार नहीं होता है. हाल ही में जब उनसे मुलाकात हुई, और हमने उनसे प्यार को लेकर उनकी सोच के बारे में जानना चाहा, तो काजल अग्रवाल ने ‘‘सरिता’’ पत्रिका से कहा-‘‘प्यार अलग अलग रूपों में होता है. बहन, मां, पिता, दोस्त सभी के साथ अलग तरह का प्यार होता है. प्यार का मतलब सिर्फ रोमांटिक प्यार नहीं होता है.’’

जब हमने उनसे पूछा कि तो क्या रोमांटिक प्यार की जरूरत नही है? इस पर काजल अग्रवाल ने कहा-‘‘जिंदगी जीने के लिए रोमांटिक प्यार की भी जरूरत है. मगर इस तरह का प्यार होने में समय लगता है. यह प्यार धीरे धीरे दो लोगों के बीच आपसी विश्वास और समझ के साथ विकसित होता है. अचानक प्यार कभी नहीं होता. जिस तरह से फिल्मों में ‘लव एट वन साइड’ दिखाया जाता है, वैसा प्यार निजी जिंदगी में नहीं होता है. मेरे साथ तो अभी तक ‘लव एट वन साइड’ हुआ नही है. अभी तक मेरा किसी के साथ रोमांटिक अफेयर नहीं चला है, इसलिए इस बारे में कुछ कह नहीं सकती.’’

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