दीपिका पादुकोण जब पहली बार फिल्म ‘ओम शांति ओम’ में मुख्य भूमिका के लिए चुनी गईं और उस भूमिका के लिए उन्हें पुरस्कार मिला, तो उन की खुशी का ठिकाना न रहा. पहली बार किसी पुरस्कार समारोह में भाग लेना और हाथ में ट्रौफी पकड़ना उन के लिए किसी सपने की तरह था. एक पल के लिए पूरी दुनिया उन के सामने से घूम गई. इस से पहले जब वे पढ़ती थीं, तो रात का खाना खाते समय अपने मम्मीपापा और बहन के साथ पुरस्कार वितरण समारोह टीवी पर देखा करती थीं. कभी उन्हें इस में शामिल होने का अवसर मिलेगा, उन्होंने सोचा भी नहीं था. उन्हें आज भी वह दिन याद आता है.

परिणीति चोपड़ा: परिणीति चोपड़ा एक बैंकर थीं और लंदन में काम करती थीं. आर्थिक मंदी के समय वे भारत आईं और मुंबई में प्रियंका चोपड़ा के यहां ठहर कर काम की तलाश करने लगीं. प्रियंका चोपड़ा उस समय ‘प्यार इंपौसिबल’ की शूटिंग यशराज स्टूडियो में कर रही थीं. उन्हें परिणीति का वहां परिचय करवाया तो उन्हें पब्लिक रिलेशन का काम मिला. अभिनय के बारे में उन्होंने कभी सोचा भी नहीं था, क्योंकि उन्हें भारीभरकम मेकअप पसंद नहीं था. उसी समय निर्देशक मनीष शर्मा जो फिल्म बना रहे थे, उस के लिए उन्हें नए चेहरे की तलाश थी. उन्होंने परिणीति को औफर दिया, तो परिणीति ने न चाहते हुए भी हां इसलिए कह दिया, क्योंकि उन्हें लगा था कि औडिशन में वे बाहर निकाल दी जाएंगी. लेकिन ऐसा नहीं हुआ. वे कहती हैं कि उस दिन औडिशन में सफल होना ही कामयाबी का राज रहा. उसे मैं हमेशा याद करती हूं.

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