अल्जाइमर्स रोग मनोभ्रंश का सब से आम कारण है. शब्द मनोभ्रंश से ही इस के संकेतों का पता चल जाता है. पहली बार इस बीमारी को वर्णित करने वाले चिकित्सक अलोइस अल्जाइमर के नाम पर इस बीमारी का नाम अल्जाइमर्स हुआ. यह मस्तिष्क को प्रभावित करने वाला ऐसा रोग है जिस में इस की शक्ति दिनोंदिन क्षीण होने लगती है. याददाश्त का कम होना, अल्जाइमर्स रोग के प्रमुख लक्षणों में से एक है. इस बीमारी का सब से प्रमुख लक्षण है हालिया जानकारियों को भूल जाना, दूसरा लक्षण है महत्त्वपूर्ण तारीखों या घटनाओं का याद न रहना, एक ही जानकारी को बारबार पूछना तथा उन्हें फिर भूल जाना, स्मृति सहयोगियों पर आश्रित रहना यानी रिमाइंडर नोट्स या किसी इलैक्ट्रौनिक यंत्र में प्रमुख तथा सामान्य जानकारियां फीड रखना जो कि सामान्यतया आराम से याद रखी जा सकती हैं. या परिवार के किसी सदस्य पर ऐसे कामों के लिए आश्रित रहना जो खुद से आसानी से किए जा सकते हैं.

इस बीमारी के कारण लोगों को ऐसे कार्यों को भी करने में तकलीफों का सामना करना पड़ता है जिन से वे भलीभांति परिचित हैं या काफी समय से नियमित करते आ रहे हैं. उदाहरण के तौर पर परिचित रास्तों को भूल जाना व पैसे संबंधी लेनदेन का समझ में न आना आदि. यह बीमारी रोजमर्रा के हर एक ऐसे कामों को प्रभावित करती है जिसे लोग कई बरसों से करते आ रहे हैं. समय या स्थान के बारे में भ्रम, दृश्यचित्र और स्थानिक संबंधों को समझने में दिक्कतों तथा इन जैसे तमाम लक्षणों का सीधा संबंध अल्जाइमर्स रोग से है. इन सारे लक्षणों को लोग जानकारी के अभाव में अनदेखा कर देते हैं. नतीजतन, इस बीमारी से पीडि़त व्यक्ति सामान्य मानसिक कार्यों को करने में असमर्थ होने की वजह से अपनेआप को समाज से तथा सामाजिक गतिविधियों से अलगथलग रखने लगता है.

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