सबमर्सीबल पंप घरेलू, औद्योगिक, व्यावसायिक और कृषि के कामों के लिए काफी उपयोगी है. साधारण सिंचाई पंप या जेट पंप की तुलना में यह काफी ज्यादा पानी फेंकता है और इस की सब से खास बात यह है कि यह जरा भी आवाज नहीं करता?है. इस के रखरखाव पर काफी कम खर्च आता है और आम पंपों की तरह इस में एयर लेने और पानी छोड़ देने की समस्या को नहीं झेलना पड़ता है. इस पंप को बोरिंग पाइप में ही अंदर डाल दिया जाता है.

‘विशाल पंप एंड हार्डवेयर’ के डायरेक्टर अजय कुमार बताते?हैं कि सिंचाई के पंपों और जेट पंपों की तुलना में सबमर्सीबल पंप की तकनीक और कूवत काफी ज्यादा होती?है. इस के साथ ही बाकी पंपों के मुकाबले सबमर्सीबल पंप में बिजली की खपत भी कम होती है. जेट पंप जहां अधिकतम 25-30 फुट गहराई से पानी उठाता है, वहीं सबमर्सीबल पंप उस से कई गुना ज्यादा गहराई से पानी उठाने की कूवत रखता है. जेट पंप की तुलना में सबमर्सीबल पंप से निकलने वाले पानी का दबाव 30 फीसदी ज्यादा होता?है, जिस से पानी ज्यादा ऊपर या दूर तक पहुंच सकता?है. खेती के कामों के लिए सबमर्सीबल पंप किसानों को कम समय में ज्यादा पानी देता है. ड्रिप और स्प्रिंकलर सिंचाई के लिए यह पंप काफी मुफीद है.

ड्रिप सिंचाई की एक उन्नत तकनीक है, जिस में पानी और उर्वरकों को साथसाथ पौधों की जड़ों के पास तरल के रूप में पहुंचाया जाता है. सबमर्सीबल पंप इस सिंचाई तकनीक के लिए काफी कारगर है. सिंचाई की इस तकनीक के जरीए पानी का करीब 95 फीसदी तक इस्तेमाल हो जाता?है, जिस से पानी की बरबादी न के बराबर होती?है. ड्रिप सिंचाई से पौधों की जड़ों में पानी, उर्वरक और हवा सही मात्रा में पहुंचते हैं. इस तकनीक में ड्रिपर के जरीए बूंदबूंद पानी को सीधे पौधों की जड़ों में डाला जाता है. सबमर्सीबल पंप स्प्रिंकलर सिंचाई के लिए काफी मुफीद?है. रेतीले इलाकों और बलुई मिट्टी में सिंचाई के लिए स्प्रिंकलर तकनीक फायदेमंद है. इस के जरीए बारिश के पानी की तरह खेतों में पानी का छिड़काव किया जाता?है, जिस से पानी की बरबादी बहुत ही कम होती है. गेहूं, चना, कपास, सोयाबीन, चाय, कौफी, चारा फसलों और सब्जियों की सिंचाई इस तकनीक के जरीए बेहतरीन तरीके से की जा सकती?है.

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