अब फेसबुक की नजर अब आपके बैंक खातों पर है. ऐसा इसलिए क्योंकि फेसबुक ने कई बड़े बैंकों से ग्राहकों की डिटेल्स मांगी है, जिससे वो अपने मैसेंजर प्लेटफौर्म पर नई सेवाओं की शुरुआत कर सके. हालांकि अभी इसकी शुरुआत फेसबुक ने अमेरिका में स्थित बैंकों से मांगी है, लेकिन देर-सवेर यह भारत में भी इस तरह की जानकारी को मांग सकता है.

इन बैंकों से मांगी जानकारी

जिन बैंकों से फेसबुक ने ग्राहकों के बारे में जानकारी मांगी है, उनमें से कई भारत में कार्यरत हैं. इनमें सिटीबैंक, वेल्स फार्गो, जेपी मौर्गन, चेस आदि शामिल हैं. इन बैंकों के विश्व के कई देशों में शाखाएं हैं.

मांगी यह जानकारी

फेसबुक ने बैंकों से जो जानकारी मांगी है उसमें बैंक ग्राहकों के कार्ड से होने वाले ट्रांजेक्शन, खातों में कितना बैलेंस है और ग्राहकों ने अपने बैंक खाते से कहां-कहां खरीदारी की है. यह सारी जानकारियां काफी व्यक्तिगत हैं, जिसके चलते बैंक ग्राहक इसका विरोध भी कर सकते हैं.

निजी जानकारी के सार्वजनिक होने का खतरा

अगर सही में फेसबुक बैंकों के साथ मिलकर ऐसा करता है तो इससे हमारी-आपकी निजी जानकारी सार्वजनिक होने का खतरा है, क्योंकि इससे हैकर भी फायदा उठा सकते हैं और आपके खाते से बैलेंस कभी भी साफ हो सकता है.

मैसेंजर सेवा से कमाना चाहता है पैसे

फेसबुक अपनी मैसेंजर सेवा से पैसे कमाना चाहता है, जिसके लिए उसने बैंकों से संपर्क किया है. हालांकि फेसबुक में डाटा चोरी विवाद के बाद से बैंक इस तरह की सेवाएं लेने से हिचकिचा रहे हैं. कैंब्रिज एनालिटिका ने अमेरिकी राष्ट्रपति के 2016 में हुए चुनाव में मौजूदा राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के समर्थन में 8.7 करोड़ लोगों का डाटा चोरी करने का आरोप भी लगा था.

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