पिछले एक सप्ताह से बौलीवुड में ‘‘MeToo’’ मूवमेंट के चलते हंगामा मचा हुआ है. हर दिन कोई न कोई अदाकारा सोशल मीडिया पर किसी कलाकार या निर्माता निर्देशक पर यौन शोषण करने का आरोप लगा रही है. तनुश्री दत्ता, विंटा नंदा, संध्या मृदुल सहित कई अभिनेत्रियां व महिला लेखक आरोप लगा रही हैं. परिणामतः कई लोग बुरी तरह से हिले हुए हैं. कुछ आरोपों से इंकार कर रहे हैं, तो वहीं चेतन भगत जैसे कुछ लोग अपने कुकृत्य के लिए माफी मांग रहे हैं. तो वहीं कुछ लोग इसे तथाकथित अभिनेत्रियों का प्रचार हथकंडा भी बता रहे हैं. फिल्म इंडस्ट्री से जुड़ी एसोसिएशन भी सक्रिय हो गयी हैं. ‘सिंटा’ के सुशांत सिंह खुद को बेबस महसूस कर रहे हैं. उनका कहना है कि वह ‘सिंटा’ के कानून की बेड़ियों में जकड़े हुए हैं. ‘सिंटा’ की जिस समिति को इस पर निर्णय लेना है, वह चुप है. यानी कि जो हालात बने हुए हैं, उससे एक बात उभरकर आती है कि बौलीवुड में काम करना लड़कियों के लिए सुरक्षित नहीं है.

मगर अभिनेत्री व बिजनेस वुमन प्रीति जिंटा इस बात से सहमत नजर नहीं आती. ‘‘पंजाब इलेवन क्रिकेट’’ टीम की मालकिन प्रीति जिंटा ने हाल ही में अपनी 26 अक्टूबर को प्रदर्शित होने वाली फिल्म ‘‘भईया जी सुपरहिट’’ के प्रमोशन के सिलसिले में मीडिया से बात की. जब मीडिया ने उनसे पूछा कि अभिनेत्रियां जिस तरह के आरोप लगा रही हैं, उससे यही नजर आता है कि बौलीवुड लड़कियों के लिए सुरक्षित जगह नहीं रही ? वह खुद क्या मानती हैं ? इस पर प्रीति जिंटा ने बौलीवुड का जोरदार बचाव करते हुए कहा कि, ‘‘हर पुरुष खिलंदड़ या बलात्कारी या यौन शोषक नहीं है और हर औरत सती सावित्री नहीं है.’’

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